इंदौर में भर्ती सत्याग्रह कर रहे युवाओं का पदयात्रा शुरू, नौकरी की मांग को लेकर भोपाल कूच कर रहे छात्र

पिछले 21 सितंबर से इंदौर में सत्याग्रह पर बैठे थे हजारों बेरोजगार युवा, भर्तियां शुरू करने को लेकर अनशन भी किया, मांगें पूरी नहीं हुई तो भोपाल के लिए रवाना हुए

Updated: Oct 02, 2022, 10:34 AM IST

इंदौर। मध्य प्रदेश के इंदौर में पिछले 11 दिन से सत्याग्रह पर बैठे छात्रों ने आखिरकार आज भोपाल के लिए कूच कर दिया है। नौकरी की मांग को लेकर सैंकड़ों छात्र पैदल ही भोपाल के लिए रवाना हुए। NEYU के बैनर तले प्रदर्शन कर रहे छात्रों ने कहा कि हम सोई सरकार को जागने और अपना अधिकार पाने के लिए भोपाल कूच कर रहे हैं।

दरअसल, अबतक बेरोजगार युवा रोज अलग-अलग गतिविधियां कर सरकार का ध्यान अपनी और आकर्षित करने में लगे थे। लेकिन सकारात्मक जवाब न मिलने से दुखी युवाओं ने भोपाल कूच करने का फैसला लिया। NEYU के बैनर तले गांधी जयंती के मौके पर रविवार दोपहर युवाओं का समूह दीनदयाल पार्क से भोपाल के लिए पैदल निकला। संगठन ने इसे अंतिम लड़ाई बताया है। यात्रा से जुड़ने के लिए उन्होंने व्हाट्सएप नंबर भी जारी किए हैं। 

NEYU के संयोजकों ने बताया कि यह पदयात्रा 9 अक्टूबर को भोपाल पहुंचेगी। वे सुबह सात बजे से लेकर रात 8 बजे तक चलेंगे। इस बीच दोपहर में विश्राम भी करेंगे। युवाओं ने प्रतिदिन करीब 20 किलोमीटर चलने का लक्ष्य बनाया है। बता दें कि आज युवाओं को सपोर्ट करने मशहूर बॉक्सर विजेंदर सिंह भी इंदौर आने वाले थे। हालांकि, उनका कार्यक्रम कैंसिल हो गया।

युवाओं ने बताया कि विजेंदर सिंह पर पुलिस का दबाव था। इसलिए वह नहीं आ सके। उन्होंने कहा कि बावजूद हमारे हौसले कम नहीं हुए हैं। पुलिस प्रशासन और सरकार चाहे जो तिकड़मबाजी कर ले लेकिन हम अपने अधिकारों के लिए आर पार की लड़ाई लड़ेंगे। खबर लिखे जाने तक यात्रा इंदौर की सीमा के भीतर ही है और भरी संख्या में पुलिस बल को निगरानी में लगाया गया है।

प्रदर्शनकारी छात्र बेरोजगारी की समस्या का समग्र समाधान निकालने के लिए मध्य प्रदेश रोजगार कानून बनाने की मांग कर रहे हैं। छात्रों की प्रमुख मांग ये है कि पिछले कई सालों से रुकी हुई सभी भर्ती प्रक्रियाओं को तत्काल पूरा किया जाए। साथ ही MPPSC की 2019, 2020 और 2021 की भर्तियां जल्द से जल्द पूरी की जाएं। इसके अलावा उन्होंने व्यापम के एक लाख पदों (जिसमें एसआई, पटवारी, कॉन्स्टेबल, एग्रीकल्चर इत्यादि शामिल हैं) को तत्काल भरने की मांग की है।