बच्चे शिक्षा के लिए छोटे देशों में जा रहे हैं, खरबों रुपए बाहर जा रहा है, यूक्रेन संकट के बीच PM मोदी

यूक्रेन में फंसे हजारों भारतीय छात्र प्रधानमंत्री मोदी से लगा रहे मदद की गुहार, पीएम मोदी ने प्राइवेट सेक्टर से किया देश में ही मेडिकल कॉलेज बनाने का आह्वान

Updated: Feb 26, 2022, 08:36 AM IST

नई दिल्ली। देश के हजारों छात्र यूक्रेन में फंसे हुए हैं। छात्र लगातार भारत सरकार से मदद की गुहार लगा रहे हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज इस मुद्दे पर कहा है कि भारत के बच्चे मेडिकल शिक्षा के लिए छोटे देशों में जा रहे हैं, इससे देश का अरबों-खरबों रुपए बाहर जा रहे हैं। उन्होंने प्राइवेट सेक्टर से मेडिकल शिक्षा के संस्थान खोलने की अपील की है।

प्रधानमंत्री मोदी ने शनिवार को कहा कि, 'आज हमारे बच्चे शिक्षा के लिए, विशेषकर मेडिकल शिक्षा के लिए दुनिया के छोटे-छोटे देशों में जा रहे हैं, वहां भाषा की समस्या भी है, तब भी जा रहे हैं। भारत का अरबों-खरबों रुपया बाहर जा रहा है। क्या हमारे प्राइवेट सेक्टर बड़ी मात्रा में इस क्षेत्र में नहीं आ सकते? क्या हमारी राज्य सरकारें इस प्रकार के कामों को जमीन देने में उम्दा नीतियां नहीं बना सकती? ताकि अधिकतर डॉक्टर हमारे देश में तैयार हों। हम दुनिया की मांग भी पूरी कर सकते हैं।'

पीएम मोदी ने आगे कहा कि, 'आज हमारा फोकस health पर तो है ही, wellness पर भी उतना ही अधिक है। हमारा प्रयास है कि क्रिटिकल हेल्थकेयर सुविधाएं ब्लॉक स्तर पर हों, जिला स्तर पर हों, गांवों के नजदीक हों। WHO भारत में अपना, विश्व में अकेला ग्लोबल सेन्टर ऑफ ट्रेडिशनल मेडिसिन शुरू करने जा रहा है। कोरोना टीकाकरण में को-विन जैसे डिजिटल प्लेटफॉर्म के माध्यम से हमारी डिजिटल तकनीक का लोहा पूरी दुनिया ने माना है।'

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हेल्थ बजट को लेकर प्रधानमंत्री ने कहा कि, 'जैसे-जैसे हेल्थ सर्विस की डिमांड बढ़ रही है, उसके अनुसार ही हम स्किल्ड हेल्थ प्रोफेशनल्स तैयार करने का भी प्रयास कर रहे हैं। इसलिए बजट में हेल्थ एजुकेशन और हेल्थकेयर से जुड़े ह्युमेन रिसोर्स डेवलपमेंट के लिए पिछले साल की तुलना में बड़ी वृद्धि की गई है। बेहतर पॉलिसी के साथ ही उनका इम्प्लीमेंटेशन भी बहुत आवश्यक होता है। इसके लिए जरूरी है कि ग्राउंड पर जो लोग पॉलिसी को उतारते हैं, उन पर ज्यादा ध्यान दिया जाए।'