रेप का बचावकर घिरे राजस्थान के कैबिनेट मंत्री, बर्ख़ास्तगी के होहल्ले पर मांगी माफ़ी

राजस्थान की अशोक गहलोत सरकार में संसदीय कार्यमंत्री शांति धारीवाल ने विधानसभा में निर्लज्जता की हद पार की, बोले- राजस्थान रेप में नंबर वन है, इसका क्या करें, मर्दों का प्रदेश है, लोगों ने की मंत्री को बर्खास्त करने की मांग

Updated: Mar 10, 2022, 07:10 AM IST

जयपुर। राजस्थान की अशोक गहलोत सरकार में संसदीय कार्यमंत्री शांति धारीवाल ने बेहद घटिया बयान दिया है। धारीवाल ने बेहद शर्मनाक तरीके से रेप जैसे घिनौने कृत्य को मर्दानगी से जोड़ने का प्रयास किया। धारीवाल ने कहा कि रेप में राजस्थान नंबर वन है, इसका हम क्या करें। वैसे भी राजस्थान मर्दों का प्रदेश रहा है। इस शर्मनाक बयान पर लोग प्रियंका गांधी से मांग कर रहे हैं कि धारीवाल को तत्काल बर्खास्त किया जाए।

जानकारी के मुताबिक कैबिनेट मंत्री ने बुधवार 9 मार्च को सदन के भीतर यह बयान दिया, जिसका वीडियो भी सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है। धारीवाल कहते हैं कि ​​​​​​रेप के मामले में हम नंबर एक पर हैं, अब ये रेप के मामले क्यों हैं? कहीं न कहीं गलती तो है... फिर वे हंसते हुए कहते हैं की वैसे भी यह राजस्थान तो मर्दों का प्रदेश रहा है यार, उसका क्या करें? इतना कहकर धारीवाल फिर हंसते हैं। हैरानी की बात ये है कि इस दौरान सदन में मौजूद अन्य मंत्री और विधायक भी उन्हें टोकने के बजाए हंसने लगते हैं। 

रिपोर्ट्स के मुताबिक धारीवाल ने जिस वक्त यह बयान दिया, उस वक्त विधानसभा में विपक्ष के विधायक मौजूद नहीं थे। बताया जा रहा है कि उनका भाषण शुरू होते बीजेपी विधायक सदन से वॉक आउट कर गए थे। धारीवाल के इस बयान पर राजस्थान कांग्रेस की जमकर फजीहत हो रही है। लोग धारीवाल को तत्काल बर्खास्त करने की मांग कर रहे हैं। राजस्थान बीजेपी के अध्यक्ष सतीश पुनिया ने इसे निर्लज्जता करार देते हुए कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी से हस्तक्षेप की मांग की है।

सतीश पुनिया ने प्रियंका गांधी को मेंशन करते हुए ट्वीट किया, 'सदन में प्रदेश में बलात्कार में एक नंबर पर होने की निर्लज्ज स्वीकारोक्ति और मर्दों की आड़ में नारी के प्रति स्तरहीन बयान न केवल प्रदेश की महिलाओं का अपमान है बल्कि पुरूषों की गरिमा को भी गिराया है। प्रियंका जी अब क्या कहेंगी, क्या करेंगी? कांग्रेस में नैतिकता का कुछ अंश बचा भी हो तो ऐसे बदज़बानी मंत्री को कान पकड़कर बाहर का रास्ता दिखा देना चाहिए।'