विजय माल्या, नीरव मोदी और मेहुल चौकसी के 18 हजार करोड़ बैंकों को लौटाए: SC में केंद्र का जवाब

सुप्रीम कोर्ट में PMLA के प्रावधानों को चुनौती देने की याचिका पर सुनवाई, केंद्र ने कोर्ट में प्रावधानों का किया बचाव

Updated: Feb 23, 2022, 02:33 PM IST

नई दिल्ली। केंद्र सरकार ने सुप्रीम कोर्ट को आज बताया है कि भगोड़े विजय माल्या, नीरव मोदी और मेहुल चौकसी के 18,000 करोड़ रुपये बैंकों को लौटा दिए गए हैं। धन शोधन मामले में जस्टिस एएम खानविलकर, जस्टिस दिनेश माहेश्वरी और सीटी रवि कुमार की बेंच के सामने सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र का पक्ष रखा।

दरअसल, सुप्रीम कोर्ट ने PMLA के प्रावधानों को चुनौती देने की याचिका पर बुधवार को सुनवाई की। केंद्र ने सुप्रीम कोर्ट में PMLA प्रावधानों का बचाव किया। केंद्र ने कोर्ट में कहा कि विजय माल्या, नीरव मोदी और मेहुल चौकसी से बैंकों को 18,000 करोड़ रुपये लौटाए गए हैं। धन शोधन निवारण अधिनियम (PMLA) के मामलों में 67,000 करोड़ रुपये के मामलों के केस सुप्राीम कोर्ट में लंबित हैं।

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सुनवाई के दौरान सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने कहा कि प्रवर्तन निदेशालय (ED) द्वारा 4,700 पीएमएलए मामलों की जांच की जा रही है। पिछले पांच सालों में हर साल जांच के लिए उठाए गए मामलों की संख्या बढ़ रही है। साल 2015-16 में 111 मामले थे, 2020-21 में यह 981 तक हो चुके हैं. पिछले पांच वर्षों (2016-17 से 2020-21) के दौरान ऐसे अपराधों के लिए 33 लाख FIR दर्ज हुईं लेकिन PMLA के तहत केवल 2,086 मामलों की जांच की गई।

सुप्रीम कोर्ट उन याचिकाओं पर सुनवाई कर रहा है, जिसमें PMLA के तहत अपराध की आय की तलाशी, जब्ती, जांच और कुर्की के लिए प्रवर्तन निदेशालय ( ED) को उपलब्ध शक्तियों के व्यापक दायरे को चुनौती दी गई है। इस मामले में कपिल सिब्बल, अभिषेक मनु सिंघवी और मुकुल रोहतगी सहित कई वरिष्ठ वकीलों ने हाल के PMLA संशोधनों के संभावित दुरुपयोग से संबंधित विभिन्न पहलुओं पर SC के समक्ष दलीलें दी हैं।