नई दिल्ली। देश की सबसे बड़ी सरकारी बीमा कंपनी भारतीय जीवन बीमा निगम (LIC) एक बार फिर सवालों के घेरे में है। LIC पर अडाणी ग्रुप में 3.9 अरब डॉलर यानी करीब 33 हजार करोड़ रुपए निवेश करने का बड़ा आरोप लगा है। कांग्रेस ने अमेरिकी मीडिया रिपोर्ट के हवाले से कहा कि बीमा कंपनी ने अडाणी ग्रुप को फायदा पहुंचाने के लिए मई 2025 में यह निवेश किया।
अमेरिकी अखबार वॉशिंगटन पोस्ट ने अपनी इन्वेस्टिगेटिव रिपोर्ट में दावा किया है कि LIC पर अडानी ग्रुप में 33,000 करोड़ रुपए निवेश करने का सरकारी दबाव था। रिपोर्ट सामने आने के बाद कांग्रेस पार्टी ने कहा कि ग्राहकों की मेहनत की कमाई का गलत इस्तेमाल किया गया। कांग्रेस ने संसद की पब्लिक अकाउंट्स कमेटी (PAC) से इसकी जांच की मांग की है।
कांग्रेस संचार विभाग के प्रमुख जयराम रमेश ने एक्स पर लिखा है, 'मीडिया में हाल में कुछ परेशान करने वाले खुलासे हुए हैं कि 'मोदानी जॉइंट वेंचर' ने कैसे व्यवस्थित तरीके से भारतीय जीवन बीमा निगम (LIC) और इसके 30 करोड़ पॉलिसी धारकों की बचत का दुरुपयोग किया।' उन्होंने आगे लिखा, 'आंतरिक दस्तावेजों से खुलासा होता है कि मई 2025 में कैसे भारतीय अधिकारियों ने एलआईसी फंड से 33,000 करोड़ रुपये अडानी ग्रुप की विभिन्न कंपनियों में निवेश करवाया।'
वहीं, LIC ने वॉशिंगटन पोस्ट की रिपोर्ट को नकार दिया है। कंपनी ने साफ किया है कि उसके सारे निवेश पूरी ईमानदारी और सावधानीपूर्वक जांच के साथ ही किए जाते हैं। LIC ने कहा कि रिपोर्ट में बताए गए किसी भी ऐसे डॉक्यूमेंट या प्लान को LIC ने कभी तैयार नहीं किया, जो LIC के अडाणी ग्रुप में निवेश के प्लान को बताती हो। कंपनी ने कहा कि ये रिपोर्ट LIC की मजबूत और साफ-सुथरी फैसला लेने की प्रक्रिया को नुकसान पहुंचाने, कंपनी की अच्छी इमेज को खराब करने, और भारत के मजबूत वित्तीय क्षेत्र की बुनियाद को खराब करने के मकसद से जारी की गई है।