नई दिल्ली। पूर्व केंद्रीय मंत्री अरुण शौरी ने कहा है कि कुर्सी चाहे राष्ट्रपति की हो, जज की हो या प्रधानमंत्री की हो वे सब खड़े होने के लिए नहीं होती बल्कि बैठने के लिए होती हैं। यह बयान पूर्व केंद्रीय मंत्री अरुण शौरी ने प्रशांत भूषण मामले में सुप्रीम कोर्ट की कार्यवाही के मद्देनजर दिया है। 

पूर्व केंद्रीय मंत्री अरुण शौरी ने अंग्रेज़ी एक प्रमुख चैनल से बातचीत के दौरान कहा कि प्रशांत भूषण को माफी मांगना चाहिए था या नहीं, यह उनका निजी फैसला हो सकता है लेकिन अगर वे माफी मांगते तो मुझे हैरानी होती है। इससे पहले गुरुवार को सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई के दौरान प्रशांत भूषण ने माफी मांगने से इंकार कर दिया था।

बहरहाल प्रशांत भूषण मामले में अटल सरकार में केंद्रीय सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री रहे अरुण शौरी ने कोर्ट की कार्यवाही के ऊपर टिप्पणी करते हुए कहा है कि कोर्ट का स्तर भले ही बहुत ऊंचा है, लेकिन जो कोई भी शख्स किसी ऊंचे पद पर बैठता है उसे इस बात का इल्म होना चाहिए कि चाहे वो राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री या जज कोई भी हो, वो कुर्सी बैठने के लिए होती है ना कि खड़े होने के लिए।

280 कैरेक्टर लोकतंत्र के खंबे को हिला रहे हैं 

अर्थशास्त्री अरुण शौरी ने अंग्रेज़ी चैनल से बातचीत के दौरान कहा कि उन्हें इस बात की हैरानी है कि 280 कैरेक्टर लोकतंत्र के खंबे को हिला रहे हैं। शौरी ने आगे कहा कि 'मुझे नहीं लगता कि कोर्ट की छवि इतनी कमजोर या नाज़ुक है कि महज़ 280 कैरेक्टर से कोर्ट अस्थिर हो जाए। दरअसल 280 कैरेक्टर से शौरी का आश्य ट्वीट करने के लिए प्रदान की जाने वाली कैरक्टर लिमिट से है। ट्विटर पर एक ट्वीट करने के लिए अधितकम 280 कैरेक्टर की सीमा होती है। ट्विटर ने यह सीमा नवंबर 2017 में की थी। इससे पहले किसी यूजर के पास एक ट्वीट के लिए अधिकतम 140 कैरेक्टर की सीमा होती थी।

ज्ञात हो कि शीर्ष अदालत ने गुरुवार को सुनवाई के दौरान प्रशांत भूषण को अदालत की अवमानना के मामले में माफी मांगने के लिए 24 अगस्त तक का समय दिया है। हालांकि भूषण का कहना है कि उन्हें अपनी टिप्पणी के लिए कोई खेद नहीं है, और वे माफी नहीं मांगेंगे। कोर्ट ने प्रशांत भूषण को शीर्ष अदालत और सीजेआई एसए बोबडे के खिलाफ 27 जून को किए ट्वीट को लेकर अदालत की अवमानना का दोषी माना है। प्रशांत भूषण द्वारा माफीनामा न मांगने की स्थिति में कोर्ट ने कहा है कि वह 25 अगस्त को मामले पर विचार करेगी।