नई दिल्ली। लंदन में दिए गए अपने भाषण को लेकर राहुल गांधी ने मोदी सरकार पर पलटवार किया है। राहुल गांधी ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर केंद्र सरकार पर अडानी मामले से ध्यान भटकाने का आरोप लगाया गया। इसके साथ ही राहुल गांधी ने कहा कि उनके सदन में पहुंचते ही संसद की कार्यवाही को स्थगित कर दिया गया। 



राहुल गांधी ने प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान कहा कि सुबह में मैं लोकसभा स्पीकर के पास गया और उनसे कहा कि मैं इस पूरे मामले पर सदन में बोलना चाहता हूं। सरकार के चार मंत्रियों ने मेरे खिलाफ आरोप लगाए हैं, ऐसे में मुझे सदन में अपनी बात रखने का अधिकार है। 



राहुल गांधी ने संसद में अपने बयान पर हो रहे हंगामे को लेकर कहा कि प्रधानमंत्री और सरकार अडानी मामले को लेकर डरे हुए हैं, इसलिए यह सारा तमाशा रचा गया है। मुझे नहीं लगता कि मुझे सदन में बोलने दिया जाएगा, असली सवाल यही है कि मोदी जी और अडानी जी के बीच क्या रिश्ता है। 





राहुल गांधी ने कहा कि चूंकि संसद में मेरे खिलाफ आरोप लगाए हैं इसलिए सदन में बोलने का मुझे लोकतांत्रिक अधिकार है। अगर भारत का लोकतंत्र सुचारू रूप से चल रहा होता तो मुझे सदन में बोलने दिया जाता। इसलिए जो कुछ भी आप देख रहे हैं वह भारतीय लोकतंत्र की परीक्षा है। 



इससे पहले राहुल गांधी से जब आज सदन में प्रवेश करते समय मीडिया ने उनके बयान के संबंध में पूछा तब उन्होंने कहा कि उन्होंने भारत के विरोध में कोई बयान नहीं दिया है। अगर उन्हें सदन में बोलने दिया गया तो वह ज़रूर अपनी बात रखेंगे। 



सदन की कार्यवाही शुरू होने से पहले आज अधीर रंजन चौधरी ने कहा कि अगर मोदी सरकार में हिम्मत है तो वह राहुल गांधी के बयान पर ही चर्चा करवा ले। यह साबित हो जाएगा कि कौन भारत के खिलाफ के काम कर रहा है। वहीं कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा कि बीजेपी ऐसा सिर्फ अडानी मामले से ध्यान भटकाने के लिए कर रही है। राज्यसभा सांसद दिग्विजय सिंह ने कहा कि बीजेपी की मांग से ज्यादा जरूरी लाखों करोड़ के घोटाले पर चर्चा और उसकी जांच है।