भोपाल। मध्य प्रदेश विधानसभा के तीन दिवसीय शीतकालीन सत्र को राज्य सरकार ने कोरोना का हवाला देकर स्थगित कर दिया है। पूर्व मुख्यमंत्री और राज्यसभा सांसद दिग्विजय सिंह ने सत्र को स्थगित किए जाने को लेकर राज्य सरकार पर हमला बोला है। कांग्रेस नेता ने कहा है कि जब अमित शाह की रैलियां हो सकती हैं तो विधानसभा का शीतकालीन सत्र क्यों नहीं हो सकता?

दिग्विजय सिंह ने कहा कि मध्यप्रदेश सरकार व भारत सरकार के लिए कोरोना इतना ख़तरनाक हो चुका है कि विधानसभा और संसद के सत्र संचालित नहीं किए जा सकते। जबकि अनेक राज्यों में विधानसभा की बैठकें हो रही हैं। भारत को छोड़ कर सभी लोकतांत्रिक देशों में संसदीय बैठकें हो रही है। 

दिग्विजय सिंह ने आगे कहा कि भगवान राम मंदिर निर्माण के लिए चंदा जुटाने के मकसद से जुलूस निकाले जा सकते हैं, दंगा भड़काने वाले नारे लगाए जा सकते हैं। भाजपा की बैठकें हो सकती हैं , विधान सभा चुनाव हो सकते हैं। अमित शाह जी की चुनावी रैलियां और सभाएं हो सकती हैं, फिर विधानसभा व संसद की बैठकें क्यों नहीं हो सकती?

बीजेपी के पास ईवीएम है इसलिए उसे चुनाव हारने की चिंता नहीं : दिग्विजय सिंह 

दिग्विजय सिंह ने कहा कि चूंकि प्रधानमंत्री मोदी और गृह मंत्री अमित शाह किसान आंदोलन, खराब अर्थव्यवस्था और बढ़ती बेरोजगारी जैसे मसलों पर चर्चा करने से भागना चाहते हैं, इसलिए कोरोना का बहाना देकर न तो संसद का सत्र आयोजित किया जा रहा है और न ही मध्य प्रदेश विधानसभा का शीतकालीन सत्र। कांग्रेस नेता ने बीजेपी पर हमला बोलते हुए कहा कि इन्हें लोकतांत्रिक व्यवस्था पर विश्वास वैसे भी नहीं है। जब तक EVM है, तब तक इन्हें जनता की नाराज़गी और चुनाव हारने की चिंता भी नहीं है। दिग्विजय सिंह ने कहा कि ज़रूरी मुद्दों से भागने के लिए बीजेपी ने कोरोना की आपदा में अवसर ढूंढ लिया है।

उधर मध्य प्रदेश विधानसभा का शीतकालीन सत्र स्थगित किए जाने के बाद राज्य सरकार ने एक ही दिन में 13 अध्यादेश लागू कर दिए। इनमें कथित लव जिहाद को रोकने के नाम पर लाया गया विवादास्पद कानून भी शामिल है। कांग्रेस नेता पीसी शर्मा ने भी राज्य सरकार द्वारा सत्र को स्थगित करके अध्यादेश के जरिए ऐसा विवादित कानून लाने पर शिवराज सरकार पर हमला बोला है।

पीसी शर्मा ने कहा है कि जब नवनिर्वाचित विधायकों को विधानसभा में शपथ दिलवाई जा सकती है, तो विधानसभा सत्र क्यों नहीं तलाया जा सकता? पीसी शर्मा ने कहा कि चूंकि बीजेपी आगामी नगर निगम चुनाव में मुद्दों को भटकाना चाहती है, इसलिए उसने इतनी जल्दबाजी में अध्यादेश लागू कर दिया। पीसी शर्मा ने कहा कि बीजेपी ऐसा इसलिए कर रही है क्योंकि उसके पास विकास के नाम पर बताने के लिए कुछ भी नहीं है।