भोपाल। एक बाप के लिए अपनी इज्ज़त कितनी प्यारी हो सकती है.. क्या इतनी कि वो बदले में अपनी बेटी ही बेटी का बलात्कार कर ले?  और इतने से भी जी न भरे तो उसकी हत्या कर जंगल में फेंक दे? भोपाल में 25 साल की एक बेटी को अपने पिता की इस घिनौनी और विकृत मानसिकता का शिकार होना पड़ा। घटना दीपावली के दूसरे दिन की है, जब अपने मृत पोते को दफनाने के लिए बाप बेटी को लेकर जंगल गया।

असल में मृतक युवती ने अपने घरवालों की मर्जी के खिलाफ दूसरी जाति के लड़के से शादी की थी और एक साल से पति के साथ रायपुर में रह रही थी। लेकिन दीपावली के वक्त वो भोपाल में थी। उसके 8 माह के उसके बच्चे की निमोनिया से मौत हो गयी थी। यह सूचना भोपाल में रहनेवाली उसकी बड़ी बहन ने पिता को दी। पिता अपने बेटे यानी लड़की के भाई को लेकर पोते का शव जंगल में दफनाने के बहाने बेटी को मोटरसाइकल पर बिठाकर जंगल ले गया।

पुलिस को दिए बयान में पिता कमल ने कबूल किया कि उसने रेप के बाद बेटी की गला घोंटकर हत्या कर दी और पोते के साथ ही उसके शव को भी नाले में फेंककर सड़क पर खड़े बेटे के साथ घर चला आया। घटना का खुलासा तब हुआ जब स्थानीय पुलिस को रविवार को आठ महीने के एक बच्चे का शव जंगल में मिला। रातीबढ़ पुलिस को रविवार दोपहर एक महिला और बच्चे का शव जंगल में पड़े होने की सूचना मिली थी। पुलिस ने स्थानीय स्तर पर जब शिनाख्त करवायी तो वो बिलकिसगंज निवासी 25 साल की मृतका निकली। हैरानी की बात ये है कि पिता ने अपनी बड़ी बेटी को सारी घटना के बारे में बता दिया था।

कमल नाम का यह शख्स खेती करता है। पुलिस ने उसे और उसके बेटे दोनों को गिरफ्तार कर लिया है। आरोपी पहले तो अपने गुनाह स्वीकार नहीं कर रहे थे लेकिन मृतका की बड़ी बेटी के बयान के बाद सच्चाई सामने आ गयी। मृतका की बड़ी बेटी तक पुलिस एक चिट्ठी के जरिए पहुंची, जिसे 8 दिन पहले किसी स्थानीय शख्स ने पुलिस को भेजी थी। मामला किसी अनजान व्यक्ति के पत्नी के लिए बार बार पूछने और गाली गलौच से जुड़ा था।  शख्स अपनी पत्नी के लिए बार बार कॉल कर पूछ रहा था। दरअसल राधेश्याम नाम के इसी शख्स के फोन से मृतका ने आखिरी बार अपने पति को फोन किया था, इसलिए पति उस नंबर पर कॉल कर रहा था। इसी शख्स ने मृतका की शिनाख्त भी की।। पुलिस भी इसी तार को पकड़कर आरोपी तक पहुंची।

लेकिन इस घिनौनी वारदात ने सबके जेहन में यह सवाल जरूर खड़ा किया है कि आखिर किसी इंसान की इज्जत कितनी बड़ी हो सकती है? क्या वो किसी की जान और उसके नागरिक अधिकार से ज्यादा बड़ी है? क्या एक युवा बेटी का प्रेम में पड़ना और शादी करना किसी पिता के लिए इतना बड़ा अपमान हो सकता है कि वो जान तो ले ही अपनी हवस भी मिटाए?