बिजली उत्पादन और कोयला खनन के बाद सिंगरौली जिला अब सोने की चमक बिखेरने की तैयारी में है। जिले में एक नई सोने की खदान चितरंगी के सिल्फोरी और सिधारी इलाके में चिन्हित की गई है। यहां पर 7.29 मिलियन टन सोने का भंडार छिपे होने का अनुमान है। चितरंगी ब्लॉक के चकरिया और गुरार पहाड़ में सोना होने की पुष्टि करीब 18 साल पहले ही हो चुकी थी। लेकिन चकरिया ब्लॉक  की नीलामी हुई और गुरार ब्लॉक को लेकर बात आगे नहीं बढ़ पाई। सरकार ने गुरार ब्लॉक को लेकर अब ठोस मंशा जाहिर की है। ऐसा माना जा रहा है कि जल्द ही नीलामी की प्रक्रिया पूरी होगी और इसके बाद खनन शुरू होगा। यूपी-एमपी के सीमाचंल क्षेत्र में स्थित गुरार पहाड़ (गोल्ड ब्लॉक) सिल्फोरी और सिधारी गांव के समीप चितरंगी तहसील के 146.83 हेक्टेयर में है। संभावना है कि सरकार इस गोल्ड ब्लाक को खनन के लिए 50 साल के लिए लीज पर नीलाम करेगी। 

सिंगरौली के चितरंगी इलाके में मौजूद चकरिया गांव में पहले से ही एक स्वर्ण ब्लॉक बनाया जा चुका है जिसकी नीलामी भी हो चुकी है। सिंगरौली के खनिज अधिकारी एके राय का कहना है कि ब्लैक डायमंड के साथ-साथ अब सिंगरौली गोल्ड उत्पादन करने वाला जिला बन जाएगा। उम्मीद है कि यहां सोने की खदानों में रोजगार के अवसर के साथ- साथ ही सिंगरौली की पहचान राष्ट्रीय स्तर पर स्थापित होगी। गौरतलब है कि सिंगरौली सोने की दो खदानें स्थापित की जा सकती है।

सिंगरौली देशभर में ऊर्जा राजधानी के नाम से भी मशहूर है। लेकिन अब जल्द ही इसकी पहचान सोने के उत्पादन से भी होने जा रही है।