दिल्ली। नागरिक उड्डयन महानिदेशालय (DGCA) ने इंटरनेशनल कमर्शियल पैसेंजर फ्लाइट्स  पर लगी रोक को एक महीना और बढ़ा दिया है। अब 31 जुलाई, 2021 तक लोगों का विदेश यात्रा नहीं की जा सकेगी। सरकार के इस फैसले से उन लोगों के सपने पूरा होने पर ब्रेक लग गया है जो इस महीने विदेश यात्रा का प्लान बना रहे थे। अब लोगों को विदेश यात्रा का सपना पूरा करने के लिए और इंतजार करना पड़ेगा। कोरोना की स्थिति के मद्देजनर केंद्र सरकार ने अंतरराष्ट्रीय यात्री उड़ानों को 31 जुलाई रात 23.59 मिनट तक रद्द रखने का फैसला किया है।

यह फैसला अंतरराष्ट्रीय ऑल-कार्गो संचालन और विशेष रूप से DGCA द्वारा अप्रूव की गई फ्लाइट्स पर लागू नहीं होगा। हालांकि, यह प्रतिबंध अंतरराष्ट्रीय ऑल-कार्गो संचालन और विशेष रूप से विमानन नियामक द्वारा अनुमोदित उड़ानों पर लागू नहीं होगा।

इस दौरान चुनिंदा रूटों पर कुछ अंतरराष्ट्रीय शेड्यूल्ड सर्विसेज को केस टू केस बेसिस पर परमीशन दी जा सकेगी। कोरोना महामारी की वजह से 23 मार्च 2020 को पहली बार भारत में शेड्यूल्ड अंतरराष्ट्रीय यात्री उड़ानें निलंबित करने का ऐलान किया गया था। माना जा रहा था कि 30 जून को विदेशी उड़ानों पर लगा प्रतिबंध खत्म कर दिया जाएगा। लेकिन 15 महीने के अंतराल के बाद विदेश यात्रा करने वाले यात्रियों के हाथ मायूसी ही लगी है।

वहीं वंदे भारत मिशन के तहत पिछले साल मई 2020 से विदेशों में फ्लाइट्स का संचालन किया जा रहा है। वहीं जुलाई 2020 से चुनिंदा देशों के साथ द्विपक्षीय "एयर बबल" व्यवस्था के तहत विशेष अंतरराष्ट्रीय उड़ानें संचालित की जा रही है।

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एयर बबल समझौता के तहत अमेरिका, ब्रिटेन, संयुक्त अरब अमीरात, केन्या, भूटान और फ्रांस जैसे करीब 27 देशों के साथ भारत का करार है। इस करार के तहत दो देशों के बीच विमानों का परिचालन एयरलाइन कंपनियां कर सकती हैं। DGCA के सर्कुलर में साफ तौर पर कहा है कि फ्लाइट्स का यह निलंबन अंतरराष्ट्रीय मालवाहक अभियान और अनुमति प्राप्त उड़ानों के संचालन पर प्रभावी नहीं होगा।