टीआरपी के लालच में क्राइम की खबरों को बढ़ा चढ़ा कर पेश करने वाले मीडिया ने आत्‍महत्‍या को भी इतना ग्‍लैमराइज्‍ड कर दिया है कि युवक बिना कारण यूं ही जान देने लगे हैं। जी हां, यह घटना एमपी के सीहोर की है। सीहोर में 23 साल के युवक सचिन ने बिना कारण ही आत्‍महत्‍या करने का मन बनाया। खुदकुशी करने से पहले वीडियो बनाया कि मैं अपनी मर्जी से आत्महत्या कर रहा हूं| इस वीडियो को व्हाट्सएप स्टेटस पर अपलोड किया और जहरीला पदार्थ खा लिया। बाद में जब जान जाने लगी तब भूल का अहसास हुआ और तुरंत पुलिस हेल्‍प लाइन डायल 100 को फोन लगाया। पुलिस तुरंत अस्‍पताल ले गई मगर सचिन की जान नहीं बचाई जा सकी। युवक की मौत से पहले का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है।

कोरोना काल में अवसाद बढ़ा है और इस कारण आत्‍महत्‍या की दर भी बढ़ गई है मगर अकारण आत्‍महत्‍या मौत को ग्‍लैमराइज्‍ड करने का भी नतीजा है। मनोचिकित्‍सक डॉ. सत्‍यकांत त्रिवेदी के अनुसार बिना कारण या जीवन के बाद क्‍या है जैसी जिज्ञासा के आत्‍महत्‍या करना भी एक मनो विकार है। मीडिया के कारण यह एडवेंचर जैसा हो गया है। ऐसा ही कुछ सीहोर के ग्राम शेखूखेड़ा के युवक सचिन के साथ हुआ होगा। हष्‍ट पुष्‍ट सचिन पिता कमल ने आत्महत्या के पहले खेत में पेड़ के नीचे बनाए वीडियो में कहा कि मैं अपनी मर्जी से आत्महत्या कर रहा हूं। इसके लिए किसी परिजन को जिम्मेदार नहीं माना जाए। वह किसी को परेशान नहीं करने का भी आग्रह कर रहा है। यह सब कहते हुए उसके चेहरे पर एक भी भय या फिक्र का लक्षण नहीं है बल्कि वह ऐसी सरलता से बात कर रहा है जैसे कोई मामूली संदेश दिया जा रहा हो।

जान देने का विचार कर हाथ में जहरीला पदार्थ लिए वीडियो बना रहे सचिन ने इस वीडियो में दोस्‍तों से सॉरी कहते हुए कहा कि फिर आए जिंदगी में तो फिर मिलेंगे। सचिन ने इस वीडियो को अपने व्हाट्सएप स्टेटस पर अपलोड भी किया। जब उनकी तबियत बिगड़ी तो 100 डायल को फोन लगाया। पुलिस पहले उन्‍हें आष्टा ले गई। जहां प्राथमिक उपचार के बाद देवास ले जाते समय रास्ते मे युवक की मौत हो गई।