हरदा। मध्य प्रदेश सरकार ने किसानों से बिजली बिल वसूलने के लिए अजीबोगरीब तरीका अपनाया है। राज्य सरकार ने उन किसानों के बैंक खातों को ही सीज कर लिया है जिनपर बिजली बिल बकाया है। इस कार्रवाई के बाद किसान अब बीज और खाद नहीं खरीद पा रहे हैं। कांग्रेस ने इसे तानाशाही तरीका करार दिया है। पूर्व सीएम कमलनाथ ने राज्य सरकार को चेतावनी देते हुए कहा है कि किसानों के खातों को होल्ड से हटाए वरना कांग्रेस सड़कों पर आंदोलन करेगी।



रिपोर्ट्स के मुताबिक हरदा में 1400 से ज्यादा किसानों के बैंक खातों को होल्ड किया गया है। खास बात ये है कि हरदा मध्य प्रदेश के कृषि मंत्री कमल पटेल का गृह क्षेत्र है। बताया जा रहा है कि किसानों के खाते सीज करने के लिए बिजली कंपनियों ने बैंकों को एसडीएम का लेटर भी दिया है। जिसके आधार पर खाते सीज हुए। हालांकि, कुछ प्राइवेट बैंकों में किसानों के खातों को सीज करने से इनकार कर दिया है।



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खास बात ये है कि अकाउंट होल्ड करने का आदेश ऐसे समय में निकाला गया है जब मूंग की फसल बेचने के बाद किसानों के खाते में रुपए आए हैं। खाते होल्ड होने से किसान पैसे नहीं निकाल पा रहे हैं, नतीजतन बीज व खाद खरीदने में किसानों को परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। इतना ही नहीं किसानों के खसरे के कॉलम नंबर 12 में भी बकाया राशि की इंट्री की जा रही है।



कांग्रेस ने इस कार्रवाई को तानाशाही करार देते हुए सीएम शिवराज को निशाने पर लिया है। पीसीसी चीफ कमलनाथ ने कहा कि, 'यह वही शिवराज सरकार है जो विपक्ष में कहते थे कि बिल ज्यादा आए तो मत भरो, यदि कोई बिजली काट देगा मैं खुद उसे जोड़ने आऊंगा, बिजली बिलों की होली जलाते थे, धरने-प्रदर्शन करते थे और आज इनकी सरकार में किसानों से अपराधियों की तरह दमनकारी व्यवहार किया जा रहा है।' 





कमलनाथ ने कहा है कि इस बेतुके व तानाशाही निर्णय को तत्काल वापस लिया जाए। उन्होंने मांग की है कि किसानों को उनकी पूर्व की बकाया राहत व बीमा राशि का पहले भुगतान किया जाए। कांग्रेस नेता ने चेतावनी देते हुए कहा है कि यदि किसानों के खाते होल्ड से नहीं हटाए गए तो कांग्रेस चुप नहीं बैठेगी। कांग्रेस इस मामले पर किसानों के साथ सड़क पर आंदोलन करेगी।