भोपाल। मध्य प्रदेश में होने वाले आगामी लोकसभा एवं विधानसभा चुनावों को लेकर दोनों पार्टियों ने कमर कस ली है। बीजेपी ने आज अपने सभी उम्मीदवारों की घोषणा भी कर दी है, जबकि कांग्रेस पहले ही कर चुकी है। प्रदेश में एक लोकसभा और तीन विधानसभा उपचुनाव होने हैं। 

उपचुनाव को आगामी विधानसभा चुनाव 2023 के दृष्टिकोण से काफी अहम माना जा रहा है। कांग्रेस दामोह विधानसभा उपचुनाव में मिली बंपर जीत से उत्साहित है। उधर दामोह हारने के बाद बीजेपी इस बार कोई गलती करने के मूड में नहीं दिख रही है। बता दें कि सभी सीटों पर 30 अक्टूबर को मतदान होंगे और 2 नवंबर को नतीजे सामने आएंगे।

खंडवा में कांटे की टक्कर

खंडवा लोकसभा चुनाव में दोनों दलों के बीच कांटे की टक्कर तय है। कांग्रेस ने जहां राजनारायण सिंह पुरनी को अपना उम्मीदवार बनाया है वहीं बीजेपी ने ज्ञानेश्वर पाटिल पर भरोसा जताया है। 70 वर्षीय राजनारायण सिंह पुरनी मांधाता से तीन बार विधायक रह चुके हैं। उन्हें कमलनाथ और दिग्विजय सिंह का करीबी माना जाता है। उन्होंने 10वीं तक पढ़ाई की है। वहीं बीजेपी उम्मीदवार ज्ञानेश्वर पाटिल ने बी कॉम की पढ़ाई की है। 52 वर्षीय पाटिल ने विद्यार्थी परिषद से अपनी राजनीति शुरू की थी। खास बात ये है कि वे ओबीसी समाज से आते हैं।

रैगांव में दोनों महिला उम्मीदवार

रैगांव विधानसभा का मुकाबला भी बेहद दिलचस्प होने वाला है। यहां दोनों पार्टियों ने महिला उम्मीदवारों को मैदान में उतारा है। बीजेपी की ओर से 33 वर्षीय प्रतिमा बागरी चुनाव लड़ रही हैं। प्रतिमा ने एलएलबी की पढ़ाई की है। वे सतना जिला संगठन में महामंत्री हैं। उनके पिता जयप्रताप बागरी जिला पंचायत सदस्य रह चुके हैं। वहीं कांग्रेस ने 35 वर्षीय कल्पना वर्मा को अपना उम्मीदवार बनाया है। कल्पना सतना के वार्ड 2 से जिला पंचायत सदस्य रहीं हैं।

जोबट में आदिवासी वोट निर्णायक

जोबट विधानसभा में आदिवासी वोट निर्णायक माना जाता है। जय आदिवासी संगठन (जयस) ने अपना उम्मीदवार उतारकर दोनों पार्टियों के लिए चिंता बढ़ा दी है। कांग्रेस ने जोबट में अपने जिलाध्यक्ष महेश पटेल को टिकट दिया है। 51 वर्षीय महेश के पिता भी विधायक रह चुके हैं और भाई वर्तमान में अलीराजपुर से विधायक हैं। बीजेपी ने कांग्रेस से पाला बदलकर आने वाली सुलोचना रावत को मैदान में उतारा है। रावत का परिवार 50 वर्षों से कांग्रेसी है और कांग्रेस पार्टी से खुद सुलोचना तीन बार विधायक और मंत्री भी रहीं हैं।

पृथ्वीपुर में नितेंद्र मार सकते हैं बाजी

पृथ्वीपुर में कांग्रेस ने अपने वरिष्ठ नेता दिवंगत बृजेन्द्र सिंह राठौर के बेटे नितेंद्र सिंह राठौर को प्रत्याशी बनाता है। यह सीट उनके पिता के कोरोना की चपेट में आकर मौत होने के कारण रिक्त हुई थी। नितेंद्र के पास पिता की विरासत के साथ ही सहानुभूति भी है। ऐसे में उनकी जीत की संभावना बढ़ जाती है। वहीं बीजेपी ने समाजवादी पार्टी से पाला बदलकर आए शिशुपाल सिंह यादव को अपना उम्मीदवार बनाया है। वे 2018 चुनाव में समाजवादी पार्टी के सिंबल पर 44 हजार वोट लाने में कामयाब हुए थे और दूसरे स्थान पर भी थे।