देहरादून। उत्तराखंड में एक के बाद एक प्रकृति का कहर देखने को मिला है। प्रदेश में बादल फटने से 5 लोगों की मौत हो गई है। मरने वालों में 3 बच्चे भी शामिल हैं। 3 लोगों के शव बरामद कर लिए गए हैं। रविवार देर रात पिथौरागढ़ जिले के जुम्मा गांव में बादल फटने से 7-8 घर उसकी चपटे में आ गए थे। जिसके बाद इलाके में जल भराव की स्थिति बन गई। हादसे में 5 लोगों की मौत हो गई। वहीं बादल फटने से तपोवन में भी जलभराव की स्थिति बन गई है। जिसकी वजह से धारचूला में खतरा लगातार बढ़ता जा रहा है। आधा दर्जन से ज्यादा घर जमींदोज हो गए हैं। इनघरों के 8 से 10 लोगों के लापता होने की खबर है। इलाके में लोगों के रेस्क्यू के लिए SDRF और NDRF की टीम को भेजा गया है।

वहीं बादल फटने की घटना को लेकर उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह   धामी ने जल्द से जल्द राहत और बचाव की बात कही है। अपने ट्वीट में उन्होंने बताया है कि पानी में फंसे लोगों को जल्द निकालने की कोशिश तेज कर दी गई है। यहां स्थित NHPC गेस्ट हाउस के पास का इलाका भी झील बन गया है। चारों तरफ पानी ही पानी नजर आ रहा है। लोग अपने-अपने घरों में कैद हो गए हैं।

दरअसल देश के अन्य हिस्सों की ही तरह में पिछले कई दिनों से प्रदेश में बारिश का दौर जारी है। पिछले 24 घंटों में कई इलाकों में लगातार भारी वर्षा हो रही है। पिछले दिनों उत्तराखंड के खाबड़ाला गांव में भी बादल फट गया था नदियों और धाराओं में बाढ़ आ गई थी. इसकी वजह से बाढ़ का पानी घरों में घुस आया, बिजली के खंभे और पेड़ कई जगहों पर गिर गए और दो पहिया वाहन पानी में बह गए थे। 

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दो दिन पहले भी भारी बारिश की वजह से हादसा हुआ था। जाखन नदी पर बना पुल टूटने की वजह से देहरादून-ऋषिकेश मार्ग बाधित हो गया था। जिसके बाद प्रदेश सरकार ने लोक निर्माण विभाग से प्रदेश के सभी पुलों की जांच कर रिपोर्ट तलब की है।