ग्वालियर। मध्य प्रदेश के ग्वालियर की महाराजपुरा थाना पुलिस पर बुधवार को मुरैना में बड़ा हमला हो गया। हत्या के प्रयास के एक फरार आरोपी को पकड़ने गई टीम को ग्रामीणों ने घेर लिया, मारपीट की और फायरिंग भी कर दी। हमले में एक सिपाही के पैर में गोली लगी। घायल जवान को पहले मुरैना जिला अस्पताल ले जाया गया जहां प्राथमिक इलाज के बाद ग्वालियर के अपोलो अस्पताल में भर्ती किया गया। पुलिस टीम किसी तरह जान बचाकर मौके से निकल पाई। हमले की सबसे बड़ी वजह यह सामने आई कि ग्वालियर पुलिस ने दबिश से पहले मुरैना पुलिस को सूचना तक नहीं दी थी।
महाराजपुरा थाना पुलिस बीती रात जनकपुर गांव पहुंची थी। टीम हत्या के प्रयास में नामजद आरोपी हद्दू गुर्जर को पकड़ने गई थी। सभी पुलिसकर्मी सिविल ड्रेस में थे। जैसे ही उन्होंने हद्दू को पकड़कर कार में बैठाने की कोशिश की वैसे ही गांव में शोर मच गया। कुछ ही मिनटों में आरोपी के साथी और ग्रामीण इकट्ठा हो गए। भीड़ ने पुलिस पर धावा बोल दिया। छीना-छपटी में हद्दू को छुड़ा ले जाया गया। इसी दौरान फायरिंग हुई और एक जवान के पैर में गोली लग गई।
2 नवंबर की रात मुरैना के करगवां गांव के रनवीर सिंह गुर्जर ने ग्वालियर के महाराजपुरा थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई थी। उसके मुताबिक, विरासत होटल के पास उसे उसका भतीजा श्याम गुर्जर खून से लथपथ मिला था। श्याम ने बताया था कि हद्दू गुर्जर, भूरा गुर्जर, अरविंद, अजीत और उनके अन्य साथियों ने पुरानी रंजिश के चलते उसके भतीजे श्याम पर हमला किया था। मारपीट के बाद उसे जमीन पर पटक दिया गया और हद्दू ने भारी पत्थर उठाकर उसके सिर पर मार दिया। श्याम की हालत गंभीर होने पर उसे अस्पताल में भर्ती कराया गया था। इसी केस में हद्दू गुर्जर की तलाश चल रही थी।
मुरैना एसपी समीर सौरभ ने बताया कि उन्हें घटना के बाद सूचना मिली कि ग्वालियर की टीम गांव में एक आरोपी को पकड़ने आई थी और उस पर हमला हो गया। उन्होंने कहा,“हमारी पुलिस को किसी तरह की कार्रवाई की जानकारी नहीं दी गई थी। पूरी घटना की जांच की जा रही है कि हालात इस स्तर तक क्यों बिगड़े।”
हमले में आरोपी के फरार होने से मामला और गंभीर हो गया है। ग्वालियर और मुरैना पुलिस अब संयुक्त रूप से जांच कर रही है। हद्दू गुर्जर और हमले में शामिल अन्य लोगों की तलाश दोबारा तेज कर दी गई है। पुलिस यह भी जांच रही है कि बिना स्थानीय सूचना के टीम गांव में कार्रवाई करने क्यों पहुंची।