नई दिल्ली। भारत और चीन के तनाव के बीच रक्षा मंत्रालय ने 2017 के बाद से अपनी सभी मासिक रिपोर्ट वेबसाइट से हटा दी हैं। हटाई गई रिपोर्ट में 2017 के डोकलाम तनाव से जुड़ी रिपोर्ट भी शामिल है। हाल ही में मंत्रालय ने वह रिपोर्ट भी हटा दी थी, जिसमें पूर्वी लद्दाख में चीन की घुसपैठ का जिक्र था।  

अंग्रेजी अखबार इंडियन एक्सप्रेस के मुताबिक रक्षा मंत्रालय ने इस संबंध में कोई जवाब नहीं दिया है। हालांकि, सूत्रों का कहना है कि सभी रिपोर्ट्स इसी महीने तक वापस अपलोड कर दी जाएंगी। बताया जा रहा है कि इन रिपोर्ट्स को तैयार और साझा करने वाले तंत्र को बेहतर बनाया जा रहा है कि ताकि सभी रिपोर्ट्स संपूर्णता में इकट्ठी की जा सकें, वे बस मंत्रालय के विभिन्न विभागों से प्राप्त अपडेट मात्र भर ना हों। 

इंडियन एक्सप्रेस के अनुसार सूत्रों ने बताया कि सार्वजनिक होने से पहले प्रत्येक रिपोर्ट वरिष्ठ अधिकारियों की आंखों के सामने से गुजरती है। इन रिपोर्ट्स में बालाकोट एयर स्ट्राइक, भारत और पाकिस्तान के लड़ाकू विमानों की झड़प और डोकलाम में सैन्य तैनाती जैसे बड़े सैन्य ऑपरेशन का जिक्र नहीं होता। 

मंत्रालय 2017 के पहले की रिपोर्ट पहले ही हटा चुका है। पूर्वी लद्दाख में चीन के घुसपैठ से जुड़ी रिपोर्ट भी मंत्रालय हटा चुका है। रिपोर्ट में बताया गया था कि चीन के सैनिकों ने कुगरांग नाला, गोगरा और पैंगोग त्सो के उत्तरी किनारे पर घुसपैठ की। मंत्रालय की यह रिपोर्ट प्रधानमंत्री मोदी के उस बयान के विरोध में थी, जिसमें उन्होंने गलवान तनाव के बाद कहा था कि भारत की सीमा में ना तो कोई घुसा, ना घुसा हुआ है और ना ही भारत की किसी पोस्ट पर कब्जा हुआ है। 

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रिपोर्ट में यह भी बताया गया था 15 जून को गलवान घाटी में हुई झड़प से पहले ही चीन ने आक्रामक रवैया अपना रखा था और एलएसी पर भारत चीन तनाव लंबे समय तक चल सकता है।