नई दिल्ली। लोकसभा चुनाव से पहले कांग्रेस पार्टी जाति जनगणना के मुद्दे को जोर-शोर से उठा रही है। इसी क्रम में बुधवार को पार्टी द्वारा राजधानी दिल्ली में सामाजिक न्याय सम्मेलन आयोजित किया गया था। सम्मेलन को संबोधित करते हुए राहुल गांधी ने कहा कि कांग्रेस का मेनिफेस्टो देखकर PM घबरा गए हैं। यह क्रांतिकारी घोषणापत्र है। हमने जाति जनगणना कराने का वादा किया है। भाजपा SC-ST, OBC की हिस्ट्री को मिटाना चाहती है। जाति जनगणना को कोई शक्ति नहीं रोक सकती है।

राहुल गांधी ने कहा, 'भाजपा चाहती है कि SC-ST, OBC समुदाय के लोग अपनी हिस्ट्री को न पहचाने। आपको बीते हुए समय से काट दिया गया है। फुले जी और अंबेडकर जी जैसे करोड़ों लोग थे, जिन्होंने 24 घंटे देश के लिए खून-पसीना दिया था, लेकिन कोई इनकी बात नहीं करता है। आजादी की लड़ाई में भी इन समुदाय के लोगों का सेंट्रल रोल था, लेकिन कोई चर्चा नहीं होती। आप ये मत सोचे की जाति-जनगणना सिर्फ कास्ट सर्वे है, उसमें इकॉनोमिक और इंस्टिटू्यूशनल सर्वे भी जोड़ेंगे। जिससे सबको पता चलेगा कि किस जाति के लोगों की कितनी आमदनी है और अलग-अलग संस्थानों में इनकी कितनी भागीदारी है। एक प्रकार से इसको नेशनल एक्सरे मानिए।'

राहुल गांधी ने कहा, 'मैंने देश की टॉप 200 बड़ी कंपनियों की मालिकों की लिस्ट निकाली। इन 200 कंपनियों में से 25 लोगों को नरेंद्र मोदी ने 16 लाख करोड़ रुपए दिए हैं। इतने पैसे से देश के किसानों की 25 बार कर्जमाफी की जा सकती है। इन 200 कंपनियों में से एक आदिवासी नहीं, एक दलित नहीं, एक OBC नहीं है। जो मीडिया वाले मुझे नॉन सीरियस कह रहे हैं, उन कंपनियों के CEO और एंकरों की मैंने लिस्ट देखी है। 90 % मीडिया कंपनियों के CEO-एंकर और सीनियर लीडिरशिप में OBC या दलित जाति के लोग नहीं है।'

राहुल गांधी ने आगे कहा, 'मुझे जाति में कोई इंटरेस्ट नहीं है। मुझे न्याय में इंटरेस्ट है। मैंने सिर्फ कहा था कि पता लगाना चाहिए कि लोगों के साथ कितना अन्याय हो रहा है। इसके लिए जाति जनगणना यानी एक्सरे कराने की बात कही थी। मेरा इतना कहते ही भाजपा के लोग कहने लगे कि मैं देश को बांटने की कोशिश कर रहा हूं। मोदी ने 22 लोगों को 16 लाख करोड़ रुपए दिए हैं। अगर हमारी सरकार आई तो उसका थोड़ा सा पैसा लोगों को दिया जाएगा। मुझे तो पिछड़ा शब्द भी अच्छा नहीं लगता है। इसको खत्म करना है। हमारी सरकार आई तो इस पर विचार करेंगे।'