प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार को हुई सर्वदलीय बैठक में कहा कि कोरोना वायरस के खिलाफ लंबी लड़ाई है। सभी की जिंदगी बचाना सरकारी की प्राथमिकता है। देश में स्थिति 'सामाजिक आपातकाल' के समान है। इसके लिए कड़े फैसलों की जरूरत है और हमें निरंतर सतर्क रहना चाहिए। मैं एक बार फिर सभी राज्यों के मुख्यमंत्रियों से बात करूंगा।

भाजपा, कांग्रेस, डीएमके, एआईएडीएमके, टीआरएस, सीपीआईएम, टीएमसी, शिवसेना, एनसीपी, अकाली दल, एलजेपी, जेडीयू, एसपी, बीएसपी, वाईएसआर कांग्रेस और बीजेडी के फ्लोर लीडर्स के साथ बैठक में मोदी ने कहा कि राज्य, जिला प्रशासन और विशेषज्ञों ने वायरस के प्रसार को रोकने के लिए लॉकडाउन के विस्तार का सुझाव दिया है। सरकार की प्राथमिकता हरेक के जीवन को बचाना है। कोरोना वायरस के कारण हम गंभीर आर्थिक चुनौतियों का सामना कर रहे हैं और सरकार इससे निपटने के लिए प्रतिबद्ध है। 80 फीसदी राजनीतिक पार्टियां लॉकडाउन बढ़ाने के पक्ष में हैं। उन्हें राज्यों से इसी तरह की मांग मिल रही है और वह उचित समय में हितधारकों के साथ चर्चा करके निर्णय लेंगे।

शनिवार को मुख्यमंत्रियों से बात करेंगे

प्रधानमंत्री मोदी 11 अप्रैल को मुख्यमंत्रियों के साथ तीसरी बार वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग करेंगे। इससे पहले मोदी ने 20 मार्च और 3 अप्रैल को मुख्यमंत्रियों के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग की थी। इसी चर्चा के बाद लॉकडाउन बढ़ाने पर फैसला होगा।