गुवाहाटी। देश के दो राज्यों असम और मिजोरम के बीच सीमा विवाद लगातार बढ़ता ही जा रहा है। दोनों राज्यों के बीच हुई हिंसक झड़प के मामले में मिजोरम पुलिस ने असम के मुख्यमंत्री हिमंता बिस्वा सरमा के खिलाफ एफआईआर दर्ज किया है। सीएम के अलावा राज्य के 6 पुलिस अधिकारियों और असम पुलिस के 200 अज्ञात जवानों के खिलाफ भी मुकदमे दायर किए गए हैं।

मिजोरम के पुलिस महानिरीक्षक जॉन एन ने बताया कि सीएम समेत सभी आरोपियों के खिलाफ हत्या का प्रयास, अपराधिक साजिश समेत अन्य गंभीर धाराओं में मुकदमा दायर की गई है। उन्होंने बताया कि सोमवार को हुई हिंसक झड़प के बाद देर रात मिजोरम पुलिस द्वारा वैरेंगते थाने में प्राथमिकी दर्ज की गई थी। मिजोरम पुलिस के मुताबिक असम सीएम हिमंता के कहने पर ही राज्य की पुलिस द्वारा हमारे कैंपों पर हमला की गई थी।

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मामले में असम पुलिस ने भी तत्परता दिखाते हुए मिजोरम के 6 अधिकारियों को समन भेजा है। पुलिस ने सभी से 2 अगस्त को ढोलाई पुलिस स्टेशन में पेश होने को कहा है। जानकारी के मुताबिक 28 जुलाई को ही यह समन जारी की गई थी। असम पुलिस ने मिजोरम पुलिस के डिप्टी कमिश्नर और एसपी रैंक के अधिकारियों को समन भेजा है, ऐसे में ये कार्रवाई काफी बड़ी मानी जा रही है।

इतना ही नहीं असम की सरकार ने तो अपने नागरिकों के लिए ट्रेवल एडवाइजरी तक जारी कर दिया है। असम सरकार ने इसमें नागरिकों को ये सलाह दिया है कि वे पड़ोसी राज्य मिजोरम जाने से बचें। असम सीएम हिमंता बिस्वा सरमा ने इस बारे में कहा है कि बॉर्डर इलाकों में मिजोरम के लोग AK-47 लेकर घूम रहे हैं। ऐसे में हमने अपने लोगों को मिजोरम न जाने का निर्देश दिया है।

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दरअसल, बीते 26 जुलाई को दोनों राज्यों के बीच सीमा विवाद को लेकर हिंसक झड़प हुई थी। इस दौरान असम पुलिस के 7 जवान शहीद हो गए थे। आजाद भारत के इतिहास में यह पहली घटना है जब दो राज्यों के बीच किसी विवाद ने हिंसक रूप अख्तियार कर लिया है। ऐसी स्थिति तब है जब दोनों राज्यों में बीजेपी नीत एनडीए सरकारें हैं और केंद्र सरकार में भी बीजेपी ही सत्ता में है। इस हिंसक झड़प को विपक्ष ने गृहमंत्री अमित शाह की विफलता करार दिया है।