विकास दुबे एनकाउंटर मामले में लगातार यूपी पुलिस पर सवाल उठ रहे हैं। कांग्रेस पार्टी के मीडिया प्रभारी रणदीप सुरजेवाला ने पूछा है कि विकास दुबे आखिर सत्त्ता में मौजूद किस व्यक्ति का राज़दार था। अगर विकास दुबे को भागना ही था, तो फिर उसने उज्जैन में तथाकथित सरेंडर क्यों किया? एनकाउंटर से पहले जितने भी मीडियाकर्मी एसटीएफ की गाड़ी के पीछे चल रहे थे, उन सबको क्यों रोका गया?

कांग्रेस मुख्यालय में प्रेस वार्ता के दौरान रणदीप सुरजेवाला ने 14 सवाल पूछते हुए कहा कि विकास दुबे के पास ऐसे क्या राज़ थे जो सत्ता-शासन से गठजोड़ उजागर करते? उत्तर प्रदेश सरकार ने विकास दुबे का नाम राज्य के 25 मोस्ट वांटेड अपराधियों में शामिल क्‍यों नहीं किया था। सुरजेवाला ने सरेंडर और एनकाउंटर तक के  घटनाक्रम पर प्रकाश डालते हुए पूछा है कि अगर विकास दुबे को भागना ही था, तो फिर उसने उज्जैन में तथाकथित सरेंडर क्यों किया? एनकाउंटर से पहले जितने भी मीडियाकर्मी एसटीएफ की गाड़ी के पीछे चल रहे थे, उन सबको क्यों रोका गया?

सुरजेवाला ने यूपी सरकार के दोहरे रवैए पर सवाल खड़ा करते हुए पूछा कि राज्य सरकार की कथनी और करनी में इतना बड़ा अंतर क्यों है? सुरजेवाला ने कहा कि पहले कहा गया कि विकास दुबे द्वारा किए गए अपराध की संगीनता को देखते हुए उसे चार्टर प्लेन से कानपूर ले जाया जाएगा, फिर यह फैसला क्यों बदला गया? 

कांग्रेस ने मांग की है कि सत्‍ता और अपराधियों के गठजोड़ को उजागर करने के लिए विकास दुबे एनकाउंटर की जांच सुप्रीम कोर्ट के सीटिंग जज से करवाई जाए।