भोपाल। मध्यप्रदेश में बुधवार को निकाय चुनाव के लिए पहले चरण का मतदान संपन्न हुआ। राजधानी भोपाल में कई जगहों पर वोटर लिस्ट में गड़बड़ी का भी मामला सामने आया है। कई पोलिंग बूथों पर वोटर लिस्ट में नाम नहीं होने से मतदाता वोट नहीं कर सके। नतीजतन भोपाल में वोटिंग प्रतिशत 51.60 फीसदी तक ही रहा। 

वोटिंग लिस्ट में कमी सत्ताधारी बीजेपी के खराब संकेत माना जा रहा है। बीजेपी संगठन में इस बात को लेकर चिंता भी है। गुरुवार को बीजेपी के डेलिगेशन ने मतदाता सूची में गड़बड़ी को लेकर राज्य निर्वाचन आयुक्त बीपी सिंह से शिकायत की। बीजेपी का आरोप है कि कई जगहों पर मतदाता सूची में विसंगतियां पाई गई। वोटिंग कम होने से बीजेपी को नुकसान हुआ है। 

यह भी पढ़ें: दो मंत्रियों के इस्तीफे के बाद बड़े रोल में सिंधिया, मिला इस्पात मंत्रालय का अतिरिक्त प्रभार

बीजेपी ने आरोप लगाया कि कई मतदाता मतदान नहीं कर सके। ये सभी मतदाता ऐसे थे, जो वर्षों से मतदान करते आए हैं, लेकिन इस बार उनका नाम मतदाता सूची से गायब था। इसलिए वो बिना वोट डाले ही वापस लौट गए। बीजेपी ने मांग की है कि दूसरे चरण के लिए पर्चियां युद्ध स्तर पर मतदाताओं को वितरित की जाए, ताकि मतदान का प्रतिशत बढ़ सके।

इससे पहले मध्य प्रदेश बीजेपी के मीडिया प्रभारी लोकेंद्र परासर ने ट्वीट कर कहा कि, 'नगरीय निकाय चुनाव के प्रथम चरण में भारी संख्या में लोगों को मतदाता पर्चियां नहीं मिली और एक परिवार के वोट कई मतदान केंद्रों पर विभाजित कर दिए गए। इस कारण कई लोग वोट ही नहीं डाल पाए। चुनाव आयोग बताए, इसके लिए जिम्मेदार कौन है?'

वहीं कांग्रेस प्रवक्ता संगीता शर्मा ने बीजेपी पर हमला करते हुए कहा कि BJP को पंचायत और निकाय चुनाव में अपनी हार दिख रही है। BJP में हार की बौखलाहट है, जो अब निकल कर सामने आ रही है।