असम में मॉनसूनी बारिश ने मचाई तबाही, अब तक 26 लोगों की मौत, 15 जिलों के डेढ़ लाख से अधिक लोग प्रभावित

बाढ़ के चलते राज्य में जान और माल का भारी नुकसान हो रहा है। राज्य में खाने-पीने की चीजों की कमी हो गई है और लोग शेल्टर में शरण लेने को मजबूर हैं।

Updated: Jun 19, 2024, 10:56 PM IST

गुवाहाटी। भारत के उत्तरी हिस्से में जहां एक तरफ हीटवेव मुसीबत बन रही है, वहीं दूसरी तरफ पूर्वोत्तर में मूसलाधार बारिश आफत बन कर सामने आ रही है। असम में मूसलाधार बारिश होने के चलते राज्य को भयानक बाढ़ का सामना करना पड़ रहा है। 28 मई से असम में मौसम सामान्य नहीं है और लगातार बारिश हो रही है। असम के 15 जिलों में 1.6 लाख से ज्यादा लोग बाढ़ से प्रभावित है। साथ ही बाढ़ के चलते अब तक 26 लोगों की मौत हो गई है।

असम आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (ASDMA) की बाढ़ रिपोर्ट के अनुसार, मंगलवार को हैलाकांडी जिले में बाढ़ की वजह से पानी में डूबने से एक व्यक्ति की मौत हो गई। एएसडीएमए के मुताबिक अभी तक बाढ़ के चलते 26 लोगों की राज्य में मौत हो गई है। बाढ़ के चलते राज्य में जान और माल का भारी नुकसान हो रहा है। खेत के खेत पानी में डूब गए, लोगों के घर डूब गए। जिसके चलते राज्य में खाने-पीने की चीजों की कमी हो गई है और लोग शेल्टर कैंप में शरण लेने को मजबूर हैं।

दूसरी तरफ असम के करीमगंज जिले में हालात काफी बिगड़ गए हैं, अभी तक 1.52 लाख लोग बाढ़ से प्रभावित हुए हैं और 41,711 बच्चे भी इस में शामिल हैं। 225 गांव में भी हालात काफी खराब है। लोगों के घर पानी में डूब गए हैं, खाने का सामान नहीं बचा है। जिसके बाद करीब 22 हजार लोगों ने शेल्टर कैंप में शरण ली है। 

एएसडीएमए की बाढ़ रिपोर्ट के मुताबिक बाढ़ के पानी ने 1378.64 हैक्टर खेत को नष्ट कर दिया है। बाढ़ प्रभावित जिलों में बिश्वनाथ लखीमपुर, होजई, बोंगाईगांव, नलबाड़ी, तामुलपुर, उदलगुरी, दरांग, धेमाजी, हैलाकांडी, करीमगंज, हैलाकांडी, गोलपारा, नगांव, चिरांग और कोकराझार शामिल है।

इंसान ही नहीं जानवारों पर भी बाढ़ का भारी असर हुआ, राज्य के 93,895 जानवारों को बाढ़ से भारी नुकसान हुआ है। जिसके बाद असम के सीएम हेमंत बिस्वा सरमा ने राज्य की पुलिस, काजीरंगा नेशनल पार्क के प्रशासन के साथ बाढ़ के हालातों में नेशनल पार्क के जानवरों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए मीटिंग की।