जयपुर। राजस्थान के पूर्व उपमुख्यमंत्री और कांग्रेस नेता सचिन पायलट ने कृषि कानूनों को लेकर केंद्र सरकार पर हमला बोला है। सचिन पायलट ने कहा है कि केंद्र की बीजेपी सरकार ने कृषि कानूनों को लागू किया जो कि पूर्ण रूप से किसान विरोधी है।  किसान आंदोलन को लेकर सचिन पायलट ने कहा कि जिस तरह से बीजेपी किसानों के साथ दुर्व्यवहार कर रही है, वो कतई सही नहीं है। लिहाज़ा केंद्र सरकार को किसानों के साथ यह दुर्व्यवहार बंद करना चाहिए और जल्द से जल्द इन कानूनों को रद्द करना चाहिए।  

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सरकार ने किसानों की अनदेखी की इसलिए पूरा समाज आज चुनौती का सामना कर रहा है 

सचिन पायलट आज नगर निकाय चुनावों में जीत हासिल करने वाले कांग्रेस के प्रत्याशियों से मिलने दौसा पहुंचे। वहां उन्होंने मोदी सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि केंद्र सरकार ने किसानों की अनदेखी करके तीनों आत्मघाती कानूनों को जबरन लागू कर दिया है। इस अनदेखी से नाराज़ अन्नदाता अब सड़कों पर आ गए हैं, जिससे किसानों के साथ साथ पूरे समाज को चुनौती का सामना करना पड़ रहा है।

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देश का हर नागरिक इन कानूनों का विरोध करे, सरकार को नहीं है किसानों की चिंता  

सचिन पायलट ने कहा कि गुरुवार को कांग्रेस पार्टी के शीर्ष नेताओं ने राष्ट्रपति को कृषि कानूनों के विरोध में एक ज्ञापन सौंपा था, जिसमें दो करोड़ लोगों ने इन कानूनों को रद्द करने की मांग की है। उन्होंने कहा कि देश के हर नागरिक को केंद्र के कृषि कानूनों का विरोध करना चाहिए। पायलट ने आगे कहा कि लोकतंत्र में अपनी बात रखने का हक सब को है। पायलट ने आगे कहा जिस ठण्ड में हमारे किसान हज़ारों की संख्या में दिल्ली के चारों तरफ बैठे हैं, वो इस बात को दिखाता है कि जो किसान ज़मीन से अनाज को उगाते हैं उन किसानों की चिंता सरकार को नहीं है। इसलिए तमाम विपक्षी दल, किसान संगठनों और आम नागरिकों को एकजुटता के साथ सरकार के इन कानूनों के खिलाफ आवाज़ उठानी चाहिए। सचिन पायलट ने कहा कि ये तीनों कानून पूरी तरह से अलोकतांत्रिक हैं।