भाजपा प्रत्याशी द्वारा मुस्लिम वोटर्स को धमकाने का मामला, राष्ट्रीय अल्पसंख्यक आयोग ने CS से मांगा जवाब

आलोक शर्मा के सांप्रदायिक बयान से अल्पसंख्यक वर्ग में भय का माहौल, भोपाल उत्तर विधानसभा क्षेत्र में आलोक शर्मा की जगह किसी साफ छवि के नेता को टिकट दे बीजेपी: अब्बास हफीज

Updated: Aug 27, 2023, 01:09 PM IST

भोपाल। भाजपा प्रत्याशी आलोक शर्मा द्वारा मुस्लिम वोटर्स को धमकाने के मामले पर राष्ट्रीय अल्पसंख्यक आयोग ने संज्ञान लिया है। अल्संख्यक आयोग ने मध्य प्रदेश के चीफ सेक्रेटरी इकबाल सिंह बैंस को इस पूरे मामले की जांच के निर्देश दिए हैं। आयोग ने चीफ सेक्रेटरी को जवाब दाखिल करने के लिए 21 दिन का समय दिया है। इस मामले की शिकायत मध्य प्रदेश कांग्रेस के मीडिया उपाध्यक्ष अब्बास हफीज ने की थी।

दरअसल, BJP के प्रदेश उपाध्यक्ष और विधानसभा चुनाव में घोषित प्रत्याशी शर्मा ने जावरा (रतलाम) में सभा के दौरान कहा था, 'मुस्लिम भाइयों से कहना चाहता हूं... क्योंकि तुम वोट तो हमें दोगे नहीं, इसलिए तुम वोट डालने ही मत जाना।' कांग्रेस नेता अब्बास हफीज ने राष्ट्रीय अल्पसंख्यक आयोग से इसकी शिकायत की थी। इसपर संज्ञान लेते हुए अल्पसंख्यक आयोग ने जांच के निर्देश दिए हैं। 

मामले पर प्रदेश कांग्रेस मीडिया विभाग के उपाध्यक्ष अब्बास हफीज ने कहा, 'मध्य प्रदेश में भाजपा के नेता बार-बार सांप्रदायिक बयान देकर प्रदेश की फ़िजा बिगाड़ने का अमानवीय कृत्य कर रहे है। मप्र में निकट भविष्य में विधानसभा के चुनाव होना है और ऐसे में भाजपा नेताओं द्वारा तरह-तरह के चुनावी हथकंड़े अपनाकर प्रदेश को अपने पक्ष में करने की जुगत लगा रहे है। आलोक शर्मा ने जावरा में विवादित बयान दिया जिससे मुस्लिम समुदाय को आघात पहुंचा है। हैरत की बात यह है कि इस सांप्रदायिक बयान के बाद भाजपा नेतृत्व ने उन्हें प्रत्याशी बनाया है, इसलिए शर्मा के खिलाफ सांप्रदायिक बयानबाजी करने के अपराध में सख्त कानूनी कार्रवाई की जाए, क्योंकि उनके इस तरह के भाषण से मतदाताओं पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ेगा और विधानसभा चुनाव का माहौल बिगड़ सकता है।' 

अब्बास हफीज ने आगे कहा, 'भाजपा नेतृत्व आलोक शर्मा के बयान को संज्ञान में लेकर तत्काल उन्हें भाजपा के उपाध्यक्ष पर से बर्खास्त करे साथ ही उन्हें प्रत्याशी न बनाकर भोपाल उत्तर से किसी अन्य व्यक्ति को प्रत्याशी बनाए। भाजपा साफ़ छवि के नेताओं को टिकट दे और आलोक शर्मा के खिलाफ बिना किसी पक्षपात के कार्यवाही की जाए। शर्मा के इस बयान के बाद अल्पसंख्यक वर्ग में आगामी विधानसभा चुनाव में मतदान के समय भय का माहौल निर्मित होगा। इसलिये ऐसे नफ़रती बयानों पर प्रशासन को अविलंब कड़ी कार्रवाई करनी चाहिये, ताकि प्रदेश में चुनावी वातावरण को सांप्रदायिक होने से बचाया जा सके।'