कांग्रेस ने 15 बागियों ने वापस लिया नामांकन, झाबुआ में जेवियर मेड़ा ने किया विक्रांत भूरिया का समर्थन

जेवियर मेडा ने टिकट न मिलने से नाराज होकर आम आदमी पार्टी की टिकट पर चुनाव लड़ने का ऐलान किया था, हालांकि अब उन्होंने नामांकन फार्म वापस ले लिया है और विक्रांत भूरिया को समर्थन देने का ऐलान किया है।

Updated: Nov 02, 2023, 09:37 AM IST

भोपाल। मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव के लिए आज (2 नवंबर) नाम वापसी का आखिरी दिन है। भाजपा और कांग्रेस दोनों ही दलों के शीर्ष नेता बागियों को मनाने में जुटे हैं। बुधवार को कांग्रेस 15 बागियों को मनाने में सफल रही। बगावत कर चुनाव लड़ने का ऐलान करने वाले 15 दावेदारों ने नाम वापस लिया। इनमें झाबुआ से पूर्व विधायक जेवियर मेड़ा भी शामिल हैं।

जेवियर मेड़ा ने 2008 के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस की टिकट पर जीत दर्ज की थी। 2018 के चुनाव में उन्होंने निर्दलीय पर्चा दाखिल किया था। इस चुनाव में उन्हें 35 हजार 943 मत मिले थे। इससे ही कांग्रेस को हार का सामना करना पड़ा था। इस बार भी उन्होंने पहले आम आदमी पार्टी और बाद में निर्दलीय प्रत्याशी के रूप में चुनाव लड़ने का ऐलान किया था।

झाबुआ सीट से कांग्रेस के पूर्व विधायक जेवियर मेड़ा के चुनाव लड़ने से पार्टी को नुकसान होने का अंदेशा था। ऐसे में पार्टी नेताओं ने उन्हें मनाया और पार्टी में वापसी कराई। मेड़ा ने बुधवार को अपना नामांकन फॉर्म वापस ले लिया और कांग्रेस प्रत्याशी डॉ विक्रांत भूरिया को समर्थन करने का ऐलान किया।

उधर जबलपुर की पाटन सीट से कांग्रेस के बागी श्याम सुंदर उर्फ बाबूजी यादव भी मान गए हैं। श्याम सुंदर ने निर्दलीय प्रत्याशी के रूप में फॉर्म भरा था।
राज्यसभा सांसद विवेक तन्खा ने उन्हें मनाया है। जबलपुर की पनागर सीट से कांग्रेस नेता विनोद श्रीवास्तव ने भी नामांकन फॉर्म वापस ले लिया। उन्हें राज्यसभा सांसद विवेक तंखा ने उनके घर पहुंचकर मनाया।

कोतमा सीट से भी कांग्रेस नेता डॉ. वीपीएस चौहान ने नामांकन वापस ले लिया। उन्होंने पार्टी के अधिकृत प्रत्याशी सुनील सर्राफ का साथ देने की बात कही।सिवनी मालवा से कांग्रेस के पूर्व विधायक ओमप्रकाश रघुवंशी नहीं माने हैं। उन्होंने बागी होकर निर्दलीय फॉर्म भरा है। भोपाल उत्तर से नसीर इस्लाम को भी मनाने की कोशिशें जारी है।