संसद में संग्राम: सदन की कार्यवाही कल तक के लिए स्थगित, दिग्विजय सिंह ने हंगामे के लिए सत्तापक्ष को बताया जिम्मेदार

45 साल के राजनीतिक जीवन में ऐसा पहली बार देख रहा हूं जब सत्तापक्ष सदन नहीं चलने दे रहा है। सदन की कार्यवाही चले ये रूलिंग पार्टी की जिम्मेदारी होती है: राज्यसभा में बोले दिग्विजय सिंह

Updated: Mar 14, 2023, 08:55 AM IST

नई दिल्ली। राहुल गांधी के लंदन दौरे के दौरान लोकतंत्र को लेकर दिए बयान की सियासी तपिश आज संसद के दोनों सदनों में भी देखने को मिली। राहुल गांधी के बयान से बौखलाए सत्ताधारी दल के सांसदों ने दोनों सदनों में जमकर हंगामा किया। सत्ता पक्ष के सांसद राहुल गांधी के खिलाफ नारेबाजी करते हुए 'राहुल गांधी माफी मांगो' के नारे लगा रहे थे। आरोप प्रत्यारोप और हंगामे के बीच दोनों सदनों की कार्यवाही मंगलवार तक के लिए स्थगित कर दी गई।

कांग्रेस के वरिष्ठ नेता व राज्यसभा सांसद दिग्विजय सिंह ने संसद में हो रहे हो हंगामे के लिए सत्तापक्ष को जिम्मेदार ठहराया। दिग्विजय सिंह ने कहा कि मुझे यह देखकर हैरानी हो रही है कि सत्ता पक्ष के सांसद ही कार्यवाही को नहीं चलने दे रहे हैं। दरअसल, ऊपरी सदन में एक तरफ से राहुल गांधी माफी मांगो तो दूसरी तरफ से मोदी-अडानी भाई-भाई के नारे लगते रहे। सभापति जगदीप धनखड़ ने दोनों ही तरफ के सांसदों से सदन चलने देने की अपील की लेकिन नारेबाजी कर रहे सांसदों पर कोई असर नहीं पड़ा।

कांग्रेस सांसद दिग्विजय सिंह ने इसके लिए सत्ताधारी दल को जिम्मेदार ठहराते हुए कहा कि, 'अपने
45 साल के राजनीतिक जीवन में ऐसा पहली बार देख रहा हूं जब सत्तापक्ष सदन नहीं चलने दे रहा है।
सदन की कार्यवाही चले ये रूलिंग पार्टी की जिम्मेदारी होती है।' दिग्विजय सिंह के बयान के बाद भी सत्तापक्ष और विपक्ष के सांसद नारेबाजी करते रहे। हंगामे के बीच राज्यसभा के सभापति जगदीप धनखड़ ने सदन की कार्यवाही 14 मार्च को सुबह 11 बजे तक के लिए स्थगित कर दिया।

इससे पहले हंगामे के कारण दोनों सदनों की कार्यवाही शुरू होते ही स्थगित करनी पड़ी थी। लोकसभा और राज्यसभा, संसद के दोनों सदनों की कार्यवाही को दोपहर 2 बजे तक के लिए स्थगित कर दिया गया था। दोपहर 2 बजे सदन की कार्यवाही शुरू होते ही सबसे पहले सदन के नेता व केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल अपनी बात कहने के लिए खड़े हुए। भारी हंगामे के बीच पीयूष गोयल ने राहुल गांधी का नाम लिए बिना कहा कि उन्होंने विदेश में भारत के लोकतंत्र और संसद के बारे में भ्रामक बातें कही हैं।

इस दौरान नेता प्रतिपक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने राज्यसभा में दी गई रूलिंग का जिक्र करते हुए बताया कि जो व्यक्ति इस सदन का मेंबर नहीं है उसके बारे में यहां इस प्रकार की चर्चा नहीं की जा सकती। उन्होंने बताया कि यह राज्यसभा की रूलिंग है। राज्यसभा के ऐसे ही 2 निर्णयों का हवाला देते हुए खड़गे ने मांग की कि पीयूष गोयल के बयान को सदन की कार्यवाही से निकाला जाना चाहिए। 

वहीं संसद के बाहर विजय चौक पर प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान खड़गे ने कहा कि, "मोदी जी के देश को तानाशाही की तरह चला रहे हैं और फिर लोकतंत्र की बात करते हैं। राहुल गांधी ने लोकतंत्र को लेकर जो कैंब्रिज यूनिवर्सिटी में कहा था, इसे इन्होंने राज्यसभा में उठाया है। ये नियम के खिलाफ है। राज्यसभा के सभापति जो हमेशा नियमों की बात करते हैं। उन्होंने इसकी अनुमति कैसे दी?"

मल्लिकार्जुन खड़गे ने सरकार पर पलटवार करते हुए कहा कि देश के मान-सम्मान की बात करने वाले प्रधानमंत्री मोदी कई बार विदेशी धरती पर देश को शर्मसार कर चुके हैं। कांग्रेस अध्यक्ष ने ऐसे 4 मौके के बारे में बताया जब पीएम मोदी ने विदेशी धरती पर देश को अपमानित किया। उन्होंने चीन, कनाडा और दूसरे देशों में पीएम मोदी के भाषणों का उदाहरण देते हुए उनपर हमला बोला।