तीन नए क्रिमिनल लॉ बिल लोकसभा में पास, नाबालिग से रेप और मॉबलिंचिंग पर फांसी का प्रावधान

लोकसभा के बाद अब इसे राज्यसभा में पेश किया जाएगा जाएगा। वहां से पास होने के बाद इसे मंजूरी के लिए राष्ट्रपति के पास भेजा जाएगा।

Updated: Dec 20, 2023, 06:49 PM IST

नई दिल्ली। संसद के शीतकालीन शत्र के दौरान बुधवार को आपराधिक कानून संशोधन से जुड़े तीन नए बिल लोकसभा से पास हो गए हैं। मोदी सरकार CrPC , IPC की जगह भारतीय न्याय संहिता बिल-2023, भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता-2023 और भारतीय साक्ष्य बिल- 2023 लेकर आई है।

बिल पर लोकसभा में चर्चा के दौरान अमित शाह ने कहा कि अंग्रेजों का बनाया राजद्रोह कानून, जिसके चलते तिलक, गांधी, पटेल समेत देश के कई सेनानी कई बार 6-6 साल जेल में रहे। वो कानून अब तक चलता रहा। पहली बार मोदी जी ने सरकार में आते ही ऐतिहासिक फैसला किया है, राजद्रोह की धारा 124 को खत्म कर इसे हटाने का काम किया।

शाह ने कहा कि मैंने राजद्रोह की जगह उसे देशद्रोह कर दिया है। क्योंकि अब देश आजाद हो चुका है, लोकतांत्रिक देश में सरकार की आलोचना कोई भी कर सकता है। यह उनका अधिकार है। अगर कोई देश की सुरक्षा, संपत्ति को नुकसान पहुंचाने का काम करेगा तो उसके खिलाफ कार्रवाई होगी। अगर कोई सशस्त्र विरोध करता है, बम धमाके करता है तो उसके खिलाफ कार्रवाई होगी, उसे आजाद रहने का हक नहीं, उसे जेल जाना ही पड़ेगा।

गृहमंत्री ने कहा कि पहले रेप की धारा 375, 376 थी, अब जहां से अपराधों की बात शुरू होती है उसमें धारा 63, 69 में रेप को रखा गया है। गैंगरेप को भी आगे रखा गया है। बच्चों के खिलाफ अपराध को भी आगे लाया गया है। मर्डर 302 था, अब 101 हुआ है। गैंगरेप के आरोपी को 20 साल तक की सजा या जिंदा रहने तक जेल में रखा जाएगा।

उन्होंने कहा कि 18, 16 और 12 साल की उम्र की बच्चियों से रेप में अलग-अलग सजा मिलेगी। 18 से कम से रेप में आजीवन कारावास और मौत की सजा। सहमति से रेप में 15 साल की उम्र को बढ़ाकर 18 साल कर दिया गया है। अब 18 साल की लड़की के साथ रेप करने पर नाबालिग रेप में आएगा। मॉब लिंचिंग में भी फांसी की सजा का प्रावधान किया गया है।

शाह ने आगे कहा, 'नए कानून में अब पुलिस की भी जवाबदेही तय होगी। पहले किसी की गिरफ्तारी होती थी, तो उसके परिवार के लोगों को जानकारी ही नहीं होती थी। अब कोई गिरफ्तार होगा तो पुलिस उसके परिवार को जानकारी देगी। किसी भी केस में 90 दिनों में क्या हुआ, इसकी जानकारी पुलिस पीड़ित को देगी।'