भाजपा को एक और बड़ा झटका, बालाघाट से पूर्व सांसद बोध सिंह भगत ने थामा कांग्रेस का दामन

बोध सिंह भगत के साथ ही बुधनी के बीजेपी नेता राजेश पटेल और इंदौर के सीनियर नेता प्रमोद टंडन ने भी आज हजारों कार्यकर्ताओं के साथ कांग्रेस की सदस्यता ली।

Updated: Sep 20, 2023, 02:25 PM IST

भोपाल। मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव से पहले सत्ताधारी दल बीजेपी में भगदड़ की स्थिति उत्पन्न हो गई है। पार्टी से रूठ कर कांग्रेस में जाने वाले नेताओं का सिलसिला थमने का नाम नहीं ले रहा है। एक के बाद एक भाजपा के कद्दावर नेता पार्टी छोड़कर कांग्रेस में शामिल हो रहे हैं। बुधवार को भाजपा को एक बार फिर बड़ा तगड़ा झटका लगा है। बालाघाट से पूर्व सांसद बोध सिंह भगत ने कांग्रेस का दामन थाम लिया है।

पूर्व सांसद बोध सिंह भगत बुधवार को सैंकड़ों कार्यकर्ताओं के साथ भोपाल स्थित पीसीसी मुख्यालय पहुंचे। यहां उन्होंने कमलनाथ की मौजूदगी में कांग्रेस की सदस्यता ग्रहण की। माना जा रहा है कि भगत के छोड़ने से जिले में कांग्रेस की स्थिति बेहद मजबूत हो गई है। इससे पहले पूर्व नगर पालिका अध्यक्ष अनुभा मुंजारे कांग्रेस की सदस्यता ले चुकी हैं। दोनों नेता अन्य पिछड़ा वर्ग से आते हैं। बालाघाट जिले ओबीसी बहुल है और अधिकतर सीटों पर जीत-हार में निर्णायक भूमिका निभाता है। इसे देखते हुए भगत के कांग्रेस में शामिल होने को बड़ा झटका माना जा रहा है।

यह भी पढ़ें: भाजपा को एक और बड़ा झटका, बालाघाट से पूर्व सांसद बोध सिंह भगत ने थामा कांग्रेस का दामन

कांग्रेस ज्वाइन करने के बाद बोध सिंह भगत ने कहा, 'कमलनाथ सरकार का सवा साल का कार्यकाल शानदार रहा। षड्यंत्र पूर्वक आपकी सरकार गिरा दी गई। बिजली को लेकर अच्छा निर्णय लिया था। सौ यूनिट जलाओ और सौ रुपया दो, उससे बिजली भी कम जलती थी। मेरी बीजेपी से लड़ाई नकली खाद बीज की थी। जिस भ्रष्ट मंत्री गौरीशंकर बिसेन पर आय से अधिक संपत्ति का मामला चल रहा उसे फिर मंत्री बना दिया।'

इस दौरान पीसीसी चीफ कमलनाथ ने कहा, 'भगत मेरे साथ संसद में भी रहे हैं। मैं इनका स्वागत करता हूं। प्रदेश की तस्वीर आप सबके सामने है भ्रष्टाचार की कोई सीमा नहीं। सरपंच संगठन के लोगों ने मुझे बताया कि किस स्तर पर भ्रष्टाचार चल रहा है। शिवराज सिंह कहते हैं एक लाख लोगों को हर महीने रोजगार मिलेगा। मैं कहता हूं आप जो रिक्त पद हैं उनको ही भर दीजिए। अब यह सिस्टम बन गया कि पैसे दो और काम करो। पटवारी भर्ती में क्या हुआ। यह सब ने देखा है। हर जगह यही हालत है। प्रदेश की 70 फीसदी अर्थ व्यवस्था कृषि पर आधारित है। लेकिन, हालत खराब हैं। किसानों को खाद बीज के लिए भटकना पड़ रहा है।'

यह भी पढ़ें: संविधान की प्रस्तावना से हटाए गए सोशलिस्ट और सेक्युलर शब्द, कांग्रेस ने केंद्र की मंशा पर उठाए सवाल

कमलनाथ ने आगे कहा, 'हमारा 15 महीने का कार्यकाल रहा। उसमें हमने अपनी नीति और नियत का परिचय दिया। हमने शुरुआत की थी वह तो सैंपल था। हम प्रदेश को सही पटरी पर लाना चाहते थे। आज नौजवान क्यों भटक रहा है क्योंकि कोई निवेश नहीं आता है। निवेश तब आता है जब लोग प्रदेश पर विश्वास करते हैं। लेकिन हमारे प्रदेश पर किसी को विश्वास ही नहीं। शिवराज सिंह कहते हैं मैं इन्वेस्टर समिट करता हूं। सब बेकार की बातें हैं यह आज हमें दिख रहा है। यह लोग आज सनातन की बात करने लगे हैं। मुद्दों से ध्यान भटका रहे हैं। पिछले चुनाव में राष्ट्रवाद, सर्जिकल स्ट्राइक की बात की थी। आप बेरोजगारी की बात कीजिए। महंगाई की बात कीजिए। मुद्दों पर बात कीजिए। ध्यान मोड़ने की कोशिश मत कीजिए। शिवराज सिंह मुंह बहुत चलाते हैं। मुंह चलाने में और सरकार चलाने में बहुत अंतर होता है।'

बोध सिंह भगत के साथ ही बुधवार को सीएम शिवराज सिंह चौहान के विधानसभा क्षेत्र बुधनी के बीजेपी नेता राजेश पटेल और इंदौर के सीनियर नेता व प्रदेश कार्यसमिति सदस्य प्रमोद टंडन ने भी आज हजारों कार्यकर्ताओं के साथ कांग्रेस की सदस्यता ली।