न्यायपालिका और कार्यपालिका के बीच दिखावे से ज़्यादा ज़रूरी है संवाद : सीजेआई चंद्रचूड़

सीजेआई ने कहा कि आम नागरिकों को न्यायपालिका पर विश्वास सबसे अधिक है, संकट और आवश्यकता की घड़ी में न्यायपालिका ही आम नागरिकों की पहली पसंद होती है

Publish: Apr 08, 2023, 10:41 AM IST

नई दिल्ली। भारत के मुख्य न्यायाधीश डीवाई चंद्रचूड़ ने न्यायपालिका और कार्यपालिका के बीच संबंधों पर अपनी राय रखी है। सीजेआई चंद्रचूड़ ने न्यायपालिका और कार्यपालिका के बीच संबधों पर कहा है कि न्यायपालिका और कार्यपालिका के बीच दिखावे के मुकाबले संवाद होना ज़्यादा ज़रूरी है। इसके साथ ही उन्होंने यह भी कहा है कि आम नागरिकों को न्यायपालिका पर ही सबसे अधिक विश्वास है। 

सीजेआई चंद्रचूड़ ने यह बातें गुवाहाटी हाई कोर्ट के प्लेटिनम जुबली समारोह में अपने संबोधन के दौरान कही। सीजेआई ने कहा कि संवैधानिक स्टेट्समैनशिप को सुनिश्चित करने के लिए न्यायपालिका और कार्यपालिका के बीच सार्वजनिक तौर पर दिखावे के बनिस्बत विचार विमर्श और संवाद की अधिक आवश्यकता है। 

सीजेआई ने न्यायपालिका आप आम नागरिकों के विश्वास पर अपनी बात रखते हुए कहा कि न्यायपालिका की वैधता उस विश्वास में है जो उसे आम नागरिकों के विश्वास से प्राप्त होती है। संकट की घड़ी में और आवश्यकता के समय में आम नागरिकों के लिए न्यायपालिका ही उनकी पहली और अंतिम पसंद बनती है। 

हालांकि सीजेआई ने यह ज़रूर कहा कि राष्ट्र निर्माण के लिए न्यायपालिका, कार्यपालिका और विधायिका जैसे तीनों अंग काम में लगे हुए हैं लेकिन न्यायिक पक्ष पर नागरिकों का विश्वास न्यायिक स्वतंत्रता के लिहाज़ से सबसे अधिक है। सीजेआई ने हिदायत देते हुए कहा कि न्यायपालिका की भूमिका यह सुनिश्चित करना है कि कानून और प्रशासन न्याय को बनाए रखे न कि इसे विफल करे।