हरीश रावत ने बोला बीजेपी और आप पर हमला, बोले दोनों पार्टियों की लगी मिर्ची

हरीश रावत ने अपने वायरल ट्वीट को लेकर कहा कि उनका ट्वीट रोज़मर्रा की तरह ही था, लेकिन उनके ट्वीट से बीजेपी और आम आदमी पार्टी को मिर्ची लग गई

Publish: Dec 23, 2021, 10:37 AM IST

नई दिल्ली। कांग्रेस पार्टी के विरुद्ध कथित बगावती रुख अपनाने के बाद हरीश रावत के तेवर नरम पड़ गये हैं। कांग्रेस नेता के ट्वीट पर मचे सियासी घमासान के बीच उन्होंने बीजेपी और आम आदमी पार्टी पर हमला बोल दिया है। हरीश रावत ने दोनों पार्टियों पर तंज कसते हुए कहा है कि उनके ट्वीट से दोनों ही पार्टियों को मिर्ची लग गयी है।  

हरीश रावत ने बुधवार को किये अपने ट्वीट के संबंध में आज एक अन्य ट्वीट करते हुए कहा कि उन्होंने तो कल रोज़मर्रा की तरह ही ट्वीट किया था। लेकिन आज जब उन्होंने अखबार देखा तो पता चला कि भाजपा और आप को मिर्ची लग गयी है। इसलिये दोनों ही पार्टियां उनके बयान को बढ़ा चढ़ाकर पेश कर रही हैं। 

हरीश रावत ने अपने ट्विटर हैंडल पर ट्वीट करते हुए कहा कि मेरा ट्वीट रोजमर्रा जैसा ही ट्वीट है, मगर आज अखबार पढ़ने के बाद लगा कि कुछ खास है, क्योंकि भाजपा और आप पार्टी को मेरी ट्वीट को पढ़कर बड़ी मिर्ची लग गई है और इसलिये बड़े नमक-मिर्च लगाये हुये बयान दे रहे हैं।

दरअसल हरीश रावत ने बुधवार दोपहर को तीन ट्वीट किये थे, जिनमें पार्टी के प्रति हरीश रावत की नाराज़गी झलक रही थी। हरीश रावत के ट्विट के बाद से ही यह कयास लगाये जा रहे थे कि वे जल्द ही कांग्रेस पार्टी को छोड़ सकते हैं। इतना ही नहीं रावत को लेकर यह दावा भी किया जा रहा था कि वे कांग्रेस पार्टी छोड़ने के साथ-साथ राजनीति से भी संन्यास ले सकते हैं। कांग्रेस नेता को लेकर यह दावा किया जाना लगा कि वे आगामी 5 जनवरी को राजनीति से संन्यास लेने का एलान कर देंगे। लेकिन आज उन्होंने अपने एक अन्य ट्वीट से तमाम अटकलों पर फिलहाल के लिये विराम लगा दिया। 

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मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक हरीश रावत के रुख में यह नरमी कांग्रेस आलाकमान द्वारा तलब किये जाने के बाद आयी है। रिपोर्ट्स के मुताबिक हरीश रावत सहित उत्तराखंड कांग्रेस के बड़े नेताओं को दिल्ली बुलाया गया। शुक्रवार को खुद राहुल गांधी इन नेताओं से मुलाकात करने वाले हैं। 

हरीश रावत की नाराज़गी के पीछे बड़ी वजह राज्य में अगले साल होने वाले विधानसभा चुनावों को माना जा रहा है। हरीश रावत को लेकर यह दावा किया जा रहा है कि वे चाहते हैं कि आगामी विधानसभा चुनाव से पहले पार्टी उन्हें ही सीएम के चेहरे के तौर पर प्रोजेक्ट करे। इसके साथ ही हरीश रावत चुनावों के मद्देनज़र टिकट बंटवारे में भी अपनी हिस्सेदारी चाहते हैं। वहीं हरीश रावत उत्तराखंड के प्रभारी देवेंद्र यादव के तौर तरीकों से भी नारज़ बताये जा रहे है।