महाकाल मंदिर के गर्भ गृह में आम श्रद्धालुओं की नो एंट्री, दिग्विजय सिंह ने बताया आस्था के साथ खिलावड़

पिछले चार महीने से गर्भ गृह में नहीं जा पा रहे हैं आम श्रद्धालु, नेता-मंत्री और उद्योगपतियों की एंट्री पर दिग्विजय सिंह ने उठाए सवाल, कहा- आम श्रद्धालुओं की आस्था के साथ हो रहा खिलवाड़

Updated: Oct 08, 2023, 02:08 PM IST

उज्जैन। मध्य प्रदेश के उज्जैन स्थित विश्वप्रसिद्ध महाकाल मंदिर के गर्भ गृह में आम श्रद्धालुओं की नो एंट्री पर सियासत गरमा गई है। पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह ने मंदिर प्रबंधन के दोहरे मापदंड को लेकर सवाल खड़े किए हैं। सिंह ने कहा है कि उद्योगपतियों और भाजपा नेताओं के लिए गर्भ गृह हमेशा खुला रहता है, लेकिन आम लोगों को नहीं जाने दिया जाता। उन्होंने इसे आम श्रद्धालुओं की आस्था के साथ खिलवाड़ करार दिया है।

दरअसल, सावन के समय भक्तों की भीड़ को देखते हुए मंदिर प्रशासन ने गर्भगृह में पूजा पर प्रतिबंध लगा दिया था। चार महीने बाद भी ये प्रतिबंध लगातार जारी है। गर्भगृह में पूजा के लिए 750 रुपए की फीस देने का प्रावधान है, लेकिन वर्तमान में आम भक्तों को फीस देकर भी गर्भगृह में जाने की इजाजत नहीं है। हालांकि, बड़े सेलिब्रिटी, नेता और उद्योगपति लगातार गर्भगृह में जाकर पूजा कर रहे हैं। इसको पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह ने आपत्ति जताई है।

पूर्व सीएम ने एक ट्वीट में लिखा, 'पिछले चार माह से उज्जैन के महाकाल मंदिर में गर्भ ग्रह में आम श्र‌द्धालुओं का प्रवेश बिल्कुल बंद है जबकि यह दर्शन सशुल्क 750 रुपए देने के बाद होते हैं। किंतु फिर भी बंद है। लेकिन मुख्यमंत्री, भाजपा सरकार के मंत्री उनके रिश्तेदार, बड़े उद्योगपति और भाजपा कार्यकर्ताओं के लिए गर्भ ग्रह हमेशा खुला रहता है और वे दर्शन करते हैं जो की आम श्रद्धालुओं के साथ और उनकी आस्था के साथ खिलवाड़ है।'

सिंह ने आगे लिखा कि पीसीसी चीफ कमलनाथ और विधायक जयवर्धन सिंह ने यहां घोषणा कर रखी है कि प्रदेश में सरकार बनते ही सभी दर्शन शुल्क समाप्त कर दर्शन निशुल्क किए जाएंगे। उन्होंने कहा कि मंदिर में लगभग दो लाख लोग पूरे देश-प्रदेश से रोजाना दर्शन के लिए आते हैं लेकिन गर्भ गृह में प्रवेश नहीं कर पाते। यह सब प्रतिबंध जानबूझकर के सावन माह के बहाने चार माह से लगाया गया था जो आज भी निरंतर चल रहा है।

बता दें कि शनिवार को ही रिलायंस ग्रुप के मालिक अनिल अंबानी अपने परिवार के साथ उज्जैन पहुंचे थे। इस दौरान उन्होंने महाकाल मंदिर के गर्भगृह में जाकर पूजा की थी। इसके बाद से ही मंदिर प्रबंधन के दोहरे मापदंड को लेकर सवाल खड़े हो रहे हैं। श्रद्धालुओं में भी आम और खास के बीच होने वाले भेदभाव को लेकर नाराजगी है। बहरहाल, कांग्रेस ने कहा है कि राज्य में सरकार बनते ही महाकाल मंदिर के गर्भगृह में आम श्रद्धालुओं को भी एंट्री मिलेगी और इसके लिए कोई शुल्क भी नहीं वसूला जाएगा।