टाइगर स्टेट में सुरक्षित नहीं हैं बाघ, दो सालों में 20 बाघों का हुआ शिकार, कुल 71 बाघों की मौत

मध्य प्रदेश में पिछले दो सालों में कुल 71 बाघों की मौत हुई है, ये जानकारी खुद वन मंत्री विजय शाह ने विधानसभा में दी है

Updated: Dec 23, 2021, 04:58 AM IST

भोपाल। टाइगर स्टेट मध्य प्रदेश में बाघ सुरक्षित नहीं हैं। वन मंत्रालय द्वारा विधानसभा में दिए आंकड़ों से ऐसा ही प्रतीत होता है। दरअसल, प्रदेश में पिछले दो सालों में एक दो नहीं बल्कि 71 बाघों की मौत हुई है। इनमें 20 बाघों का शिकार हुआ है।

विधानसभा के शीतकालीन सत्र के दौरान कांग्रेस विधायक नारायण सिंह पट्टा ने बाघों की मौत को लेकर सवाल उठाया था। इसके लिखित जवाब में वनमंत्री विजय शाह ने बताया की इस साल जनवरी से लेकर 7 सितंबर तक 41 बाघों के मौत की पुष्टि हुई है इनमें से 11 बाघों का शिकार हुआ है।

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वन विभाग के मुताबिक टाइगर रिजर्व में 20 बाघों की स्वाभाविक मौत हुई जबकि पांच बाघों का शिकार हुआ। वहीं संरक्षित क्षेत्रों में 10 बाघों की स्वाभाविक मौत हुई जबकि 6 का शिकार हुआ। पिछले साल को लेकर वनमंत्री ने बताया कि 1 जनवरी से 31 दिसंबर 2020 तक 30 बाघों की मौत हुई, जिनमें 9 मामले शिकार के हैं और 21 स्वाभाविक मौत है।

वन विभाग के मुताबिक टाइगर रिजर्व में 19 बाघों की स्वाभाविक मौत हुई जबकि दो बाघों का शिकार हुआ। संरक्षित क्षेत्र में महज दो बाघों की स्वाभाविक मौत हुई जबकि 7 बाघों का शिकार हुए। वन मंत्री विजय शाह ने एक अन्य सवाल के जवाब में बताया कि इस साल राष्ट्रीय चंबल अभ्यारण्य के बरौली घाट से घड़ियाल के 200 अंडे इकट्ठे किए गए हैं।