टीकाकरण के लिए फ्रंटलाइन वर्कर्स की परिभाषा तय करने का फैसला राज्यों पर छोड़े केंद्र सरकार, पूर्व पीएम मनमोहन सिंह ने पीएम मोदी को लिखा पत्र
मनमोहन सिंह ने मोदी को पांच बिंदुओं में सुझाव लिखे हैं, पूर्व पीएम ने कहा है कि केंद्र सरकार को इज़राइल के आधार पर वैक्सीन के निर्माण के लिए लाइसेंस प्रावधान लागू करना चाहिए, यह टीकाकरण के अभियान को गति देने में कारगर साबित होगा
नई दिल्ली। देश में बढ़ते कोरोना के कहर के बीच पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने प्रधानमंत्री मोदी को टीकाकरण अभियान में तेज़ी लाने के लिए पत्र लिखा है। मनमोहन सिंह ने प्रधानमंत्री को लिखे पत्र में पांच बिंदुओं में अपने सुझाव भी प्रेषित किए हैं। मनमोहन सिंह ने अपने पत्र में टीकाकरण अभियान में पारदर्शिता लाने, टीकाकरण के लिए उम्र तय करने का फैसला राज्य सरकार पर छोड़ने और इज़राइल की तर्ज पर भारत में भी वैक्सीन निर्माण के लिए लाइसेंस प्रावधान को लागू करने जैसे अहम सुझाव दिए हैं।
मनमोहन सिंह ने मोदी को लिखे पत्र में पहला सुझाव यही दिया है कि केंद्र सरकार को टीकाकरण अभियान में पारदर्शिता लाने की ज़रूरत है। मनमोहन सिंह ने मोदी को लिखा है कि अगले 6 महीनों में वैक्सीन की कितनी डोज के आयात का लक्ष्य सरकार ने रखा है, इसे सार्वजनिक किया जाना चाहिए। मनमोहन सिंह ने पीएम मोदी को कहा है कि हम इस अवधि में एक निश्चित संख्या में लोगों का टीकाकरण करना चाहते हैं तो हमें वैक्सीन के निर्माण करने वाली कंपनियों को पहले ही पर्याप्त मात्रा में ऑर्डर दे देने चाहिए। ताकि वैक्सीन की उपलब्धता सुनिश्चित करने में वैक्सीन निर्माणकर्ताओं को भी सहूलियत हो सके।
मनमोहन सिंह ने कहा है कि सरकार को यह भी सुनिश्चित करना चाहिए कि केंद्र सरकार राज्यों को वैक्सीन एक पारदर्शी फॉर्मूला के आधार को कैसे उपलब्ध करा सकती है। पूर्व पीएम ने यह भी कहा है कि दस फीसदी वैक्सीन का स्तोक केंद्र सरकार को खुद के पास रखना चाहिए ताकि आपात स्थिति में राज्यों को ज़रूरत पड़ने पर वैक्सीन मुहैया कराई जा सके।
पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पत्र लिखकर कोरोना महामारी को लेकर अपने सुझाव दिए #ManmohanSingh #CoronaSecondWave pic.twitter.com/mzGCNx0yrF
— humsamvet (@humsamvet) April 18, 2021
पूर्व पीएम ने अपनी चिट्ठी में मोदी को यह भी सुझाव दिया है कि 45 वर्ष से कम उम्र के लोगों को टीकाकरण किए जाने का फैसला राज्य सरकार पर छोड़ देना चाहिए। मनमोहन सिंह ने अपनी चिट्ठी में लिखा कि उदाहरण के तौर अगर राज्य स्कूल के शिक्षकों, वाहन चालकों, पंचायत कर्मी और वकीलों का टीकाकरण करना चाहे, तो इसके लिए राज्य सरकार को छूट दी जानी चाहिए।
मनमोहन सिंह ने कहा कि भारत को भी इज़राइल की तर्ज पर वैक्सीन के निर्माण के लिए लाइसेंस का प्रावधान शुरू कर देना चाहिए। ताकि टीकाकरण अभियान को गति दी जा सके। इसके साथ ही मनमोहन सिंह ने कहा है कि जिन वैक्सीन के उपयोग पर यूरोपियन मेडिकल एजेंसी और USFDA द्वारा मंजूरी मिल चुकी है, उनके आयात पर सीधा इस्तेमाल किया जाना चाहिए।
मनमोहन सिंह ने वर्तमान परिस्थितियों का ज़िक्र करते हुए कहा है कि देश में कितने ही माता-पिता, दादा-दादी और नाना-नानी अपने बच्चों को एक साल से देख नहीं पाए हैं। शिक्षक अपनी कक्षाओं में बच्चों को नहीं देख पाए हैं। कितने ही लोगों का रोजगार चला गया है। लाखों लोग गरीब हो चुके हैं। कोरोना की दूसरी लहर के बीच लोग अपनी ज़िंदगियों के वापस पटरी पर आने की राह देख रहे हैं। इसलिए इस वक्त युद्ध स्तर पर काम करने की ज़रूरत है