अमित शाह कर रहे थे विकास के दावे और सड़कों के गड्ढे ठीक कराने के लिए मैदान में थे भोपाल के नागरिक

'अच्छी सड़कें हमारा अधिकार, गड्‌ढों से निजात दें सरकार'... जैसे स्लोगन बीमारू राज्य के नहीं बेमिसाल प्रदेश चलानेवालों के सामने बेताल की तरह मुखर हो गए हैं.. ठीक उसी समय जब दिल्ली से आए अमित शाह सरकार को शाबाशी दे रहे थे तब भोपाल के लोग सड़कों के गड्ढे नाप रहे थे.. बागसेवनिया इलाक़े में 11 फ़ीट लंबे और 9 फ़ीट चौड़े गड्ढे लोगों को हादसों का शिकार बना रहे हैं

Updated: Aug 20, 2023, 04:13 PM IST

भोपाल। मध्य प्रदेश की राजधानी स्थित अमराई बाग सेवनिया की सड़कों पर बारिश के कारण करीब 11 फीट लंबे, 9 फीट चौड़े और डेढ़ फीट गहरे गड्‌ढे हो गए हैं। रहवासियों ने गड्‌ढे भरने के लिए सीएम हेल्पलाइन में शिकायत की। सुनवायी नहीं हुई तो मजबूरन रविवार सुबह बैनर-पोस्टर लेकर सड़कों पर उतर गए। यह ठीक उस दिन की बात है जब अमित शाह कुछ ही किलोमीटर की दूरी पर बीजेपी सरकार के रिपोर्ट कार्ड में प्रदेश को बीमारू से बेमिसाल बनाने की बात कह रहे थे।

पोस्टर-बैनर में 'अच्छी सड़कें हमारा अधिकार, गड्‌ढों से निजात दें सरकार' जैसे कई स्लोगन लिखे हुए थे। प्रदर्शन के दौरान लोगों ने गड्‌ढों को इंच टेप से नापा तो पता चला कि कई गड्‌ढों की लंबाई 11 फीट या इससे ज्यादा भी है। इन गड्‌ढों की गहराई डेढ़ फीट तक निकल आयी। स्थानिकों का कहना है कि दिन में जैसे-तैसे लोग गुजर जाते हैं, लेकिन रात में गड्‌ढे दिखते नहीं है और वे आएदिन हादसों का शिकार हो रहे हैं। पिछले एक महीने में अनेक लोग गड्‌ढों की वजह से गिरकर चोटिल हो चुके हैं।

सीएम हेल्पलाइन में भी की शिकायत 

बाग मुगालिया एक्सटेंशन कॉलोनी विकास समिति के अध्यक्ष उमाशंकर तिवारी ने बताया कि अमराई बाग सेवनिया वार्ड नंबर-55 और जोन नंबर-13 में आता है। यहां महक ट्रेडर्स से नाग मंदिर तक करीब 800 मीटर लंबी सड़क है, जो पिछले एक साल से जर्जर है। बारिश के कारण गड्‌ढे बड़े हो गए हैं, जो रात के समय दिखाई नहीं देते। इस कारण लोग उनके गिर रहे हैं। अमराई, बाग सेवनिया समेत आसपास के कई इलाकों के लोगों ने सड़क के संबंध में सीएम हेल्पलाइन में भी शिकायत दर्ज कराई, लेकिन बिना निराकरण के ही शिकायत बंद कर दी गई। इस कारण लोगों ने अपने खर्च से ही गड्‌ढों में मलबा डाला।
                                                                                                                                                                     ये नागरिक सड़क पर इसलिए नहीं हैं कि उन्हें पता है कि आज कुछ राजनीतिक हलचल है, बल्कि इसलिे उतरे हैं क्योंकि आज रविवरा को उनके पास विरोध दर्ज कराने का समय है। बाकी दिन गिरत पड़ते वे काम पर रहते हैं ताकि अपने परिवार का पेट पाल सकें। आज ही अमित शाह ने कहा है कि राज्य में 5 लाख 10 हजार सड़कें बनी हैं।