बेहद बुरा साबित होगा 2023, दुनिया के एक तिहाई हिस्से पर पड़ेगी मंदी की मार, IMF चीफ की चेतावनी

आईएमएफ की प्रबंध निदेशक क्रिस्टालिना जॉर्जीवा ने कहा कि नया साल उस साल की तुलना में कठिन होने जा रहा है, जिसे हम पीछे छोड़ गए हैं।

Updated: Jan 03, 2023, 08:39 AM IST

नई दिल्ली। नए साल 2023 में दुनियाभर में आर्थिक संकट और मंदी की आशंका और गहराने लगी है। अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष (IMF) चीफ ने रविवार को कहा कि ग्लोबल इकोनॉमी के लिए 2023 ग्लोबल डेवलपमेंट के लिहाज से एक मुश्किल साल होने जा रहा है। आईएमएफ चीफ ने यह बात अमेरिका, यूरोप और चीन में कमजोर आर्थिक गतिविधियों का अनुभव करते हुए कही।

आईएमएफ की प्रबंध निदेशक क्रिस्टालिना जॉर्जीवा ने कहा कि, 'नया साल उस साल की तुलना में कठिन होने जा रहा है, जिसे हम पीछे छोड़ गए हैं। ऐसा इसलिए क्योंकि तीन बड़ी अर्थव्यवस्थाएँ– अमेरिका, यूरोपीय संघ और चीन- सभी में एक साथ धीमापन देखने को मिल रहा है। हमारा अनुमान है कि वैश्विक अर्थव्यवस्था का एक-तिहाई हिस्सा मंदी में होगा। यहां तक कि जिन देशों में मंदी नहीं भी है, वहां भी करोड़ों लोगों के लिये मंदी जैसी स्थिति होगी।'

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अंतरराष्ट्रीय मुद्राकोष की प्रमुख क्रिस्टलीना जार्जीवा ने समाचार चैनल सीबीएएस न्यूज के एक कार्यक्रम में रविवार को यह बात कही। उन्होंने यह बात ऐसे समय कही है, जब रूस-यूक्रेन युद्ध के 10 महीने बाद भी इसके समाप्त होने के कोई संकेत नहीं हैं। इसके अलावा बढ़ती मुद्रास्फीति, उच्च ब्याज दर और चीन में कोरोना वायरस संक्रमण बढ़ रहे हैं।

जार्जीवा ने कहा, ‘अगले एक-दो महीने का समय चीन के लिये कठिन होगा और चीन में वृद्धि का क्षेत्रीय और वैश्विक वृद्धि पर नकारात्मक असर होगा। 40 वर्षों में पहली बार 2022 में चीन की वृद्धि वैश्विक वृद्धि के बराबर या उससे कम रहने की संभावना है।'

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बता दें कि IMF ने पिछले साल अक्टूबर में 2023 के लिये आर्थिक वृद्धि के अनुमान को घटाते हुए कहा था कि वैश्विक वृद्धि दर के 2022 में 3.2 प्रतिशत और 2023 में घटकर 2.7 प्रतिशत रहने का अनुमान है, जो 2021 में छह प्रतिशत पर था। वैश्विक वित्तीय संकट और कोविड-19 महामारी के समय को छोड़ दिया जाए तो यह 2001 के बाद वृद्धि का सबसे कमजोर रुख है।