MP Farmer Suicide: सीएम शिवराज चौहान के गृह जिले में 20 दिनों में दूसरी किसान आत्महत्या, फसल बर्बाद होने पर किसान ने दी जान
Vidisha Farmer Suicide: मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान का दूसरा घर कहे जाने वाले विदिशा में बीस दिनों में किसान आत्महत्या का दूसरा मामला
भोपाल। एमपी की बीजेपी सरकार तमाम वादों के बाद भी किसानों को राहत देने में विफल रही है। फसल बर्बाद होने से निराश किसान लगातार जान दे रहे हैं। ताज़ा मामला मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के गृह जिले विदिशा का है।
विदिशा ज़िले के सिरोंज क्षेत्र के ग्राम भोरिया में फसल बर्बादी से दु:खी किसान गोवर्धन भावसार ने फांसी लगाकर आत्महत्या की है। कांग्रेस ने इस आत्महत्या पर शिवराज सरकार पर तंज कसा है। एमपी कांग्रेस ने किसान आत्महत्या पर कहा है कि शिवराज जी, आपके हाथ किसानों के ख़ून से रंगे हुये हैं।
मप्र में फिर किसान आत्महत्या,
— MP Congress (@INCMP) September 27, 2020
—शवराज सरकार चुनावों में व्यस्त;
मुख्यमंत्री के गृह जिले विदिशा के सिरोंज क्षेत्र के ग्राम भोरिया में फसल बर्बादी से दुखी किसान गोवर्धन भावसार ने फांसी लगाकर आत्महत्या की है।
शिवराज जी,
आपके हाथ किसानों के ख़ून से रंगे हुये हैं। pic.twitter.com/CHDGapHqA1
ग़ौरतलब है कि मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान का दूसरा घर कहे जाने वाले विदिशा में यह बीस दिनों में किसान आत्महत्या का दूसरा मामला है। जिले के शमशाबाद तहसील के डंगरवाडा गांव के 35 वर्षीय किसान बलबीर लोधी ने 6 सितंबर को फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली थी। आत्महत्या का कारण सोयाबीन की फसल बर्बाद होना और कर्ज का बोझ बताया गया था।
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पहले बारिश की खेंच और फिर अतिवृष्टि के कारण प्रदेश में सोयाबीन सहित अन्य फसलें ख़राब हुई हैं। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने मुआवज़ा देने की बात कही है। मगर न तो सर्वे हो रहा है और न मुआवज़ा मिला है। मुआवज़े की राशि भी ऊँट के मुंह में जीरा जितनी मिली। इस कारण हताश किसान अपना जीवन खत्म कर रहे हैं।