किसानों ने केंद्र सरकार के प्रस्ताव को किया खारिज, 21 फरवरी को दिल्ली कूच का ऐलान
किसान नेता जगजीत सिंह डल्लेवाल ने कहा कि करार नहीं, सरकार एमएसपी की पूरी कानूनी गारंटी दे। 21 फरवरी की सुबह 11 बजे दिल्ली कूच किया जाएगा।
नई दिल्ली। केंद्र सरकार की ओर से मसूर, उड़द, अरहर (तूर), मक्की और कपास की फसल पर अनुबंध की शर्त पर न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) की गारंटी का प्रस्ताव किसानों ने नामंजूर कर दिया है। संयुक्त किसान मोर्चा के नेता जगजीत सिंह डल्लेवाल ने सोमवार शंभू बॉर्डर पर पत्रकार वार्ता में स्पष्ट तौर पर कहा कि केंद्र सरकार करार नहीं, एमएसपी की पूरी कानूनी गारंटी दे। इससे कम हमें कुछ भी मंजूर नहीं है।
किसान नेता सरवन सिंह पंधेर ने कहा कि सरकार के साथ वार्ता जारी रखेंगे। 21 फरवरी की सुबह 11 बजे दिल्ली कूच किया जाएगा। इससे पहले रविवार रात को चौथे दौर की बैठक के बाद केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल ने धान और गेहूं के अलावा पांच अन्य फसलों पर एमएसपी गारंटी का प्रस्ताव पेश किया था। इसके लिए किसानों को भारतीय राष्ट्रीय कृषि सहकारी विपणन संघ (नैफेड) और भारतीय कपास निगम (सीसीआई) से पांच साल का करार करना होगा।
डल्लेवाल ने कहा कि वह फसलों पर एमएसपी की कानूनी गारंटी के लिए किसी प्रकार के कॉन्ट्रैक्ट की प्रक्रिया में शामिल नहीं होंगे। डल्लेवाल ने कहा कि सोमवार को उन्होंने सभी किसान संगठनों के साथ बातचीत की, लेकिन पांच फसलों पर पांच साल के लिए कॉन्ट्रैक्ट वाले प्रस्ताव पर सहमति नहीं बन पा रही। किसानों की तीन प्रमुख मांगें हैं।
पंजाब के किसानों के आंदोलन का मंगलवार, 20 फरवरी को अहम दिन माना जा रहा है। किसान दिल्ली कूच करेंगे या आंदोलन खत्म होगा, इसको लेकर शाम तक ऐलान होगा। किसानों का कहना है कि केंद्र सभी फसलों पर MSP की गारंटी दे तो आंदोलन खत्म करने को तैयार हैं।