लाडली बहना योजना की लाभार्थियों को मोहन सरकार का झटका, 1.63 लाख बहनों को नहीं मिलेगी 20वीं किस्त

Ladli Behna Yojana: मध्य प्रदेश सरकार ने बुजुर्ग महिलाओं को किया लाडली बहना कैटेगरी से बाहर, 60 साल की उम्र पार कर चुकी महिलाएँ अब नहीं बन सकती सरकारी बहनें, एक साल में अपात्र हुईं लगभग सवा 3 लाख महिलाएँ

Updated: Jan 09, 2025, 09:39 PM IST

भोपाल। इस महीने की दस तारीख सरकारी लाडली बहनों के लिए हानि की खबर लेकर आयी है। मध्य प्रदेश सरकार ने उम्र दराज महिलाओं को सरकारी बहन बनाने से मना कर दिया है। जिसकी वजह से करीब 1 लाख 63 हजार महिलाओं को इस महीने 1250 रुपए का लाभ नहीं मिल सकेगा। महिला और बाल विकास विभाग ने 60 साल की उम्र वाली महिलाओं को अपात्र मानकर छंटनी कर दिया है। योजना की शुरूआत से अगर देखें तो एक साल में लाभार्थियों की संख्या में लगभग सवा 3 लाख की कमी की गयी है।  

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20वीं किस्त में यानी जनवरी 2025 में 1.26 करोड़ महिलाओं को ही योजना का लाभ मिल सकेगा। जबकि बीते महीने 11 दिसंबर 2024 को 1.28 करोड़ महिलाओं के खाते में 1572 करोड़ रुपए ट्रांसफर किए गए थे। इस योजना में नए नाम तो नहीं जोड़े जा रहे हैं, लेकिन लाभार्थियों की संख्या दिनों-दिन कम जरूर किए जा रहे हैं। यह योजना करीब 20 माह से लागू है। लेकिन पात्रता की शर्तें कड़ी करते हुए हर महीने महिलाओं के नाम कटते जा रहे हैं। इसी कारण इनकी संख्या 2023 और 2024 में बढ़ने की बजाय घटी है।

जब योजना शुरू हुई थी तो कुल 1 करोड़ 31 लाख 35 हजार 985 आवेदन आए थे। इसके बाद 2 लाख 18 हजार 858 नाम आपत्तियों को आधार बनाकर काटे गए थे। जिसके बाद यह संख्या 1 करोड़ 29 लाख 17 हजार 127 रह गई थी। अब यह संख्या एक करोड़ 26 लाख तक पहुंचने वाली है।

विपक्षी दल कांग्रेस ने इसे महिलाओं के साथ धोखाधड़ी बताया है। राज्य सरकार पर निशाना साधते हुए पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने ट्वीट किया, 'मध्य प्रदेश में लाड़ली बहनों से डॉक्टर मोहन यादव सरकार की धोखाधड़ी जारी है। ऐसा लगता है जैसे भाजपा लाड़ली बहना योजना समाप्त करना चाहती है। चुनाव से पहले जो भाजपा लाडली बहनों को 3 हज़ार रुपया प्रतिमाह देने का वादा कर रही थी, वही भाजपा अब सम्मान राशि बढ़ाने की जगह लगातार बहनों की संख्या घटाने में लगी है।'

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कमलनाथ ने आगे लिखा, 'प्रदेश में 1.63 लाख लाड़ली बहनें इस योजना से बाहर कर दी गई हैं। दावा ये किया जा रहा है कि जिन महिलाओं की उम्र 60 वर्ष से अधिक हो गई है उन्हें योजना से बाहर किया जा रहा है। ऐसे में सवाल उठता है कि जिन महिलाओं की उम्र योजना में शामिल होने के योग्य है, उनका नया पंजीकरण क्यों नहीं किया जा रहा है? दरअसल सच्चाई यह है कि भारतीय जनता पार्टी की सरकार षड्यंत्र रचकर महिलाओं को लाड़ली बहना योजना से बाहर कर रही है और धीरे धीरे इस योजना को समाप्त कर देना चाहती है।'

2023 के विधानसभा चुनाव में बीजेपी को बड़ा बहुमत दिलाने में जिस योजना का सबसे बड़ा योगदान रहा वह लगातार बीजेपी सरकार के लिए बोझ बनती जा रही है। कर्ज़ के बोझ तले दबी सरकार ने इसका रास्ता निकालने के लिे पात्रता की शर्तों में सख्ती दिखानी शुरू की है जिससे विपक्ष को बीजेपी की नीयत पर सवाल उठाने का मौका मिल गया है।