मध्य प्रदेश में पीएम की आयुष्मान भारत योजना का बुरा हाल, 25 फीसदी लोगों के ही बने कार्ड

प्रधानमंत्री मोदी की महत्वाकांक्षी आयुष्मान भारत योजना का शिवराज के राज्य में बेहद बुरा हाल है, सवालों के घेरे में स्वास्थ्य विभाग का कामकाज

Updated: Dec 16, 2020, 04:48 PM IST

Photo Courtesy: Oneindia
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इंदौर। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की महत्वकांक्षी योजनाओं में शामिल आयुष्मान भारत योजना का मध्य प्रदेश में बुरा हाल है। हैरान करने वाली बात है कि बीजेपी शासित मध्य प्रदेश में आयुष्मान भारत योजना “निरामयम” को लागू हुए दो साल हो गए, लेकिन अब तक 25 फीसदी हितग्राहियों के ही कार्ड बन पाए हैं। इसे लेकर स्वास्थ्य विभाग समेत राज्य सरकार की कार्यशैली पर भी सवाल उठ रहे हैं।

बताया जा रहा है कि इंदौर में अब तक 7,63,675 हितग्राहियों के ही कार्ड बने हैं, जबकि 15 लाख 14 हजार 487 हितग्राहियों के कार्ड बनाए जाने थे। मामले पर स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों का कहना है कि ज्यादातर लोग तभी कार्ड बनवाते हैं, जब वे किसी बीमारी के इलाज के लिए भर्ती होते हैं। कई परिवारों में मुखिया का कार्ड तो बन गया, लेकिन बाकी सदस्यों के कार्ड अब तक नहीं बने हैं। 

इतना ही नहीं मीडिया रिपोर्ट्स में इस बात का भी दावा किया जा रहा है शिवराज के राज में पीएम मोदी की इस योजना का हाल यह है कि कई जिलों में 25 फीसदी कार्ड भी नहीं बन सके हैं। ऐसे में अब सवाल यह है कि बीजेपी और पीएम मोदी के द्वारा जिस योजना का सबसे ज्यादा प्रचार किया गया उसका यह हाल है तो अन्य योजनाओं की स्थिति क्या होगी?

30 रुपये लगता है शुल्क

आयुष्मान भारत योजना के तहत कार्ड बनाने के लिए 30 रुपये का शुल्क, समग्र आईडी, आधार कार्ड, राशन कार्ड लगता है। इंदौर में 7 सरकारी और 24 निजी अस्पतालों में कार्ड बनाए जा रहे हैं। जिले के 106 कॉमन सर्विस सेंटर में इस योजना के कार्ड बनाए जा रहे है। अधिकारियों के मुताबिक, यह संख्या बढ़ाई जाएगी। इसके बारे में किसी तरह की जानकारी के लिए 18002332085 पर संपर्क किया जा सकता है।