भूपेश बघेल को बिकाऊ कह घिरे सिंधिया, कांग्रेस बोली बेहतर है आप चुप रहें
मेडिकल कॉलेज अधिग्रहण विवाद को लेकर ज्योतिरादित्य सिंधिया ने छत्तीसगढ़ सीएम भूपेश बघेल पर साधा निशाना, बोले- कौन बिकाऊ और कौन टिकाऊ इसकी परिभाषा साफ है, मेडिकल छात्रों ने किया अधिग्रहण का स्वागत

रायपुर। छत्तीसगढ़ के दुर्ग में स्थित चंदूलाल चंद्राकर मेमोरियल मेडिकल कॉलेज का अधिग्रहण विवादों में आ गया है। मेडिकल कॉलेज को लेकर केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने खुले तौर पर छत्तीसगढ़ सीएम भूपेश बघेल आमने-सामने आ गए हैं। एक ओर सिंधिया ने बघेल को बिकाऊ करार दिया तो वहीं कांग्रेस ने उन्हें चुप रहने की नसीहत दी है। सिंधिया पर पलटवार करते हुए बघेल ने भी कहा कि हम उनकी तरह संपत्तियों को बेचा नहीं करते।
ज्योतिरादित्य सिंधिया ने ट्वीट कर भूपेश बघेल पर अपने दामाद को फायदा पहुंचाने के लिए सरकारी खज़ाना लुटाने का आरोप लगाया है। उनका आरोप है कि राजकीय कोष की राशि का उपयोग सीएम अपने दामाद के लिए कर रहे हैं। उन्होंने इसे उनपर लगे बिकाऊ के टैग से तुलना भी कही है।
भूपेश बघेल अपने दामाद का निजी महाविद्यालय बचाने के लिए उसे सरकारी कोष से खरीदने की कोशिश में हैं।प्रदेश की राशि का उपयोग अपने दामाद के लिए,वो भी एक ऐसा मेडिकल कॉलेज जिस पर धोखाधड़ी के आरोप मडिकल कौंसिल ऑफ़ इंडिया द्वारा लगाए गए थे।कौन बिकाऊ है और कौन टिकाऊ,इसकी परिभाषा अब साफ है!
— Jyotiraditya M. Scindia (@JM_Scindia) July 27, 2021
सिंधिया के इस ट्वीट के बाद सीएम बघेल ने पलटवार करते हुए कहा की वे संपत्तियों को बेचा नहीं करते। बघेल ने ट्वीट किया, 'चंदूलाल चंद्राकर मेडिकल कॉलेज पर प्रकाशित एक समाचार पर तरह तरह के कयास लगाए जा रहे हैं। वे सब निराधार है। यह प्रदेश के एक मेडिकल कॉलेज और सैकड़ों छात्रों के भविष्य को बचाने का प्रयास है। इससे एक नया मेडिकल कॉलेज बनाने का समय बचेगा व हर साल प्रदेश को डेढ़ सौ डॉक्टर मिलेंगे।'
चंदूलाल चंद्राकर मेडिकल कॉलेज, जिसके अधिग्रहण पर है विवाद
चंदूलाल चंद्राकर मेडिकल कॉलेज पर प्रकाशित एक समाचार पर तरह तरह के कयास लगाए जा रहे हैं। वे सब निराधार है।
— Bhupesh Baghel (@bhupeshbaghel) July 27, 2021
यह प्रदेश के एक मेडिकल कॉलेज और सैकड़ों छात्रों के भविष्य को बचाने का प्रयास है।
इससे एक नया मेडिकल कॉलेज बनाने का समय बचेगा व हर साल प्रदेश को डेढ़ सौ डॉक्टर मिलेंगे।
1/3
बघेल ने आगे लिखा कि, 'यह खबर कल्पनाशीलता की पराकाष्ठा से उपजा विवाद है। जिसे मैं चुनौती देता हूं। अगर जनहित का सवाल होगा तो सरकार निजी मेडिकल कॉलेज भी ख़रीदेगी और नगरनार का संयंत्र भी। हम सार्वजनिक क्षेत्र के पक्षधर लोग हैं और रहेंगे। हम उनकी तरह जनता की संपत्ति बेच नहीं रहे हैं।'
यह खबर कल्पनाशीलता की पराकाष्ठा से उपजा विवाद है। जिसे मैं चुनौती देता हूं।
— Bhupesh Baghel (@bhupeshbaghel) July 27, 2021
अगर जनहित का सवाल होगा तो सरकार निजी मेडिकल कॉलेज भी ख़रीदेगी और नगरनार का संयंत्र भी।
हम सार्वजनिक क्षेत्र के पक्षधर लोग हैं और रहेंगे।
हम उनकी तरह जनता की संपत्ति बेच नहीं रहे हैं।
3/3
सिंधिया के इस ट्वीट को लेकर कांग्रेस के कई नेताओं ने उन्हें निशाने पर लिया। मध्य प्रदेश कांग्रेस के कार्यकारी अध्यक्ष जीतू पटवारी ने तो उन्हें चुप रहने की नसीहत दी है। पटवारी ने कहा, 'बिकाऊ/टिकाऊ जैसे शब्द आपके मुंह से सुनकर, यह संसार स्तब्ध हो जाएगा, फिर अपनी ही हंसी रोक नहीं पाएगा!.. अवसर का लाभ उठाने के लिए, निष्ठा कैसे प्रमाणित की जाए? यह देश आप ही के चरित्र के जरिए जान चुका है'
बिकाऊ/टिकाऊ जैसे शब्द आपके मुंह से सुनकर, यह संसार स्तब्ध हो जाएगा, फिर अपनी ही हंसी रोक नहीं पाएगा!
— Jitu Patwari (@jitupatwari) July 27, 2021
निजी स्वार्थ के लिए "चरण-चाटुकारिता" कैसे की जाए? अवसर का लाभ उठाने के लिए, निष्ठा कैसे प्रमाणित की जाए? यह देश आप ही के चरित्र के जरिए जान चुका है!
इसलिए, बेहतर है चुप रहें! https://t.co/asVAkGoWe9
छलनी क्या बोले, जिसमें खुद बहत्तर छेद- अरुण यादव
मध्य प्रदेश कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष, अरुण यादव ने भी सिंधिया पर वार करते हुए ट्वीट किया, 'जिस सिंधिया परिवार ने पूरे ग्वालियर, उज्जैन, शिवपुरी में अरबों रुपयों की जमीनें बेंच खाई हों, अपने समर्थकों सहित कीमत लेकर बिक चुके हो, वह दूसरों पर आधार एवं तथ्यहीन आरोप लगा रहे हैं ! "सूप तो सूप छलनी क्या बोले जिसमें खुद बहत्तर छेद हैं ?"...केंद्र में हो खुद सहित सारी जांच करवा लीजिये कौन बिकाऊ है और कौन टिकाऊ देश जानता है।'
मेडिकल छात्रों ने कहा- सीएम ने उनका भविष्य किया सुरक्षित
विवाद के इन आरोपों के बीच मेडिकल कॉलेज के विद्यार्थियों और उनके अभिभावकों ने सीएम के इस कदम का स्वागत किया है। उनका कहना है कि सरकार के इस कदम से उनका भविष्य सुरक्षित हो जाएगा। छात्रों के अभिभावकों ने तो संस्थान के अधिग्रहण को ऐतिहासिक करार दिया है। आईएमए ने कहा है कि सरकार के इस कदम से 480 छात्रों का भविष्य सुरक्षित हुआ है। छत्तीसगढ़ सरकार कॉलेज के अधिग्रहण विधेयक को आज विधानसभा में पेश कर रही है।