फ्रांस से फिर 26 राफेल खरीदेगा भारत, 63 हजार करोड़ रुपए में हुई डील
डील पर मुहर लगने के बाद राफेल मरीन विमानों की डिलीवरी 2029 के अंत से शुरू होगी और 2031 तक भारतीय नौसेना को सभी 26 विमान मिल जाएंगे।

नई दिल्ली। भारत सरकार एक बार फिर फ्रांस से राफेल लड़ाकू विमान खरीदने जा रही है। रिपोर्ट्स के मुताबिक भारत ने फ्रांस से 26 राफेल मरीन लड़ाकू विमान खरीदने के लिए मेगा डील को मंजूरी दे दी है। पीएम नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता वाली सुरक्षा पर कैबिनेट कमेटी (CCS) ने 9 अप्रैल को डील पर मुहर लगाई।
इसके डील के तहत भारत को 63 हजार करोड़ रुपए में 26 मरीन फाइटर मिलने हैं। इसके बाद फ्रांस 22 सिंगल-सीटर और 4 ट्विन-सीटर जेट भारतीय नौसेना को सौंपेगा। इन्हें हिंद महासागर में चीन से मुकाबले के लिए INS विक्रांत पर तैनात किया जाएगा।
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रिपोर्ट्स के मुताबिक दोनों देशों के बीच 26 राफेल मरीन जेट की खरीद को लेकर कई महीनों से बातचीत चल रही थी। भारत नौसेना के लिए राफेल मरीन की डील उसी बेस प्राइज में करना चाहता था, जो 2016 में वायुसेना के लिए 36 विमान खरीदते समय रखी थी।
इस डील की जानकारी सबसे पहले PM मोदी की 2023 की फ्रांस यात्रा के दौरान सामने आई थी। इसके बाद रक्षा मंत्रालय ने लेटर ऑफ रिक्वेस्ट जारी किया था, जिसे फ्रांस ने दिसंबर 2023 में स्वीकार किया। इससे पहले सितंबर 2016 में 59 हजार करोड़ रुपए की डील में भारत वायुसेना के लिए फ्रांस से 36 राफेल लड़ाकू विमान खरीद चुका है।
हालांकि, इसबार कीमतें पिछले खेप की तुलना में भी काफी ज्यादा है। एक राफेल जेट की कीमत करीब ढाई हजार करोड़ रुपए होगी। ऐसे में एक बार फिर सियासी विवाद गहराने की संभावना है। दरअसल, पिछले डील में विपक्ष ने केंद्र सरकार पर कमीशनखोरी और भ्रष्टाचार के आरोप लगाए थे।