अडानी मामले में JPC गठन की मांग पर अड़ा विपक्ष, हंगामे के बीच दोनों सदनों की कार्यवाही कल तक स्थगित
संयुक्त संसदीय समिति (जेपीसी) या सर्वोच्च न्यायालय की निगरानी में अडानी समूह के मामले की जांच की मांग को लेकर विपक्षी सांसदों ने संसद परिसर में गांधी प्रतिमा के सामने विरोध प्रदर्शन किया। वहीं दूसरी ओर संसद में भी हंगामा किया।

नई दिल्ली। अडानी मामले पर जेपीसी गठन की मांग को लेकर संसद में विपक्षी दलों हल्ला बोल जारी है। अडानी मुद्दे पर आज भी विपक्ष जेपीसी जांच की मांग पर अड़ा रहा। सदन की कार्यवाही शुरू होते ही विपक्षी सांसदों ने नारेबाजी शुरू कर दी, जिसके बाद स्पीकर को दोनों सदनों की कार्यवाही को दोपहर दो बजे तक के लिए स्थगित करना पड़ा। दोपहर बाद कार्यवाही शुरु होने के तुरंत बाद दोनों सदनों को कल तक के लिए स्थगित कर दिया गया।
अडानी को बचाने की खातिर आज फिर संसद 2 बजे तक स्थगित कर दी गई।
— Congress (@INCIndia) February 6, 2023
मोदी सरकार इस मुद्दे पर चर्चा नहीं चाहती। PM मोदी के परम मित्र को बचाने के लिए हर कोशिश की जा रही है।
विपक्ष लगातार सदन में चर्चा की मांग कर रहा है। JPC बनाने की मांग कर रहा है... लेकिन सरकार भाग रही है।
इससे पहले विपक्ष ने अडानी मुद्दे पर संयुक्त संसदीय समिति (JPC) या सर्वोच्च न्यायालय की निगरानी में जांच की मांग को लेकर आज सुबह एक बैठक की।
बैठक में कांग्रेस, DMK, NCP, BRS, JD(U), SP, CPM, CPI, केरल कांग्रेस, JMM, RLD, RSP, AAP, IUML, RJD और शिव सेना के प्रतिनिधि मौजूद रहे। इस दौरान फैसला लिया गया कि सरकार की चुप्पी को लेकर गांधी प्रतिमा के सामने विरोध प्रदर्शन किया जाएगा।
संसद की कार्यवाही शुरू होने से पहले संसद भवन में गांधी प्रतिमा के सामने विरक्षी सांसदों ने विरोध प्रदर्शन किया। इस दौरान सांसदों ने "प्रधानमंत्री जवाब दो, अडानी घोटाले पर JPC लागू करो, सुप्रीम कोर्ट से जांच कराओ, SBI-LIC को लूटना बंद करो और गरीबों को लूटना बंद करो" जैसे सरकार विरोधी नारे लगाए।
संसद में गांधी प्रतिमा के सामने विपक्ष की गूंज -
— Congress (@INCIndia) February 6, 2023
प्रधानमंत्री जवाब दो
अडानी घोटाले पर JPC लागू करो
सुप्रीम कोर्ट से जांच कराओ
SBI-LIC को लूटना बंद करो
गरीबों को लूटना बंद करो
बात जनता के हितों की है... दूर तलक जाएगी। pic.twitter.com/GtECHTDpwA
प्रदर्शन के दौरान कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा कि हम संसद में अडानी समूह संकट पर चर्चा की मांग करते हैं, हम विस्तृत चर्चा के लिए तैयार हैं। हम चाहते हैं कि इसे पहले लिया जाए। राष्ट्रपति के अभिभाषण पर बोलने के लिए भी हम तैयार हैं और हम इसे उचित महत्व देते हैं। लेकिन पहली प्राथमिकता यह है कि पीएम मोदी इस मसले पर जवाब दें। उन्होंने कहा कि सरकार चाहती है कि यह मामला न उठाया जाए, चर्चा न की जाए। वे किसी तरह इससे बचना चाहते हैं और इसे रिकॉर्ड में नहीं लाना चाहते।
कांग्रेस के राज्यसभा सांसद दिग्विजय सिंह ने कहा कि, "निवेशकों के लाखों-करोड़ रुपए डूब गए, क्या यह विषय सदन में चर्चा लायक नहीं है? हमें इस प्रकरण पर प्रधानमंत्री जी से जवाब चाहिए। आज 17 दलों ने फैसला लिया कि पीएम मोदी जबतक इस विषय पर चर्चा के लिए तैयार नहीं हो जाते हम पीछे नहीं हटने वाले हैं।"
अडानी प्रकरण पर प्रधानमंत्री जवाब दे।- @digvijaya_28 pic.twitter.com/dQzh6k3sV1
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RJD सांसद मनोज झा ने कहा कि लोग चिंतित हैं लेकिन सरकार अडानी मुद्दे को कवर करने की कोशिश कर रही है। अडानी दावा कर रहे हैं कि यह देश पर हमला है, लेकिन कैसे? हम इसकी जेपीसी जांच चाहते हैं। वहीं, कांग्रेस सांसद केसी वेणुगोपाल ने कहा कि हम अडानी मामले की संयुक्त संसदीय समिति से जांच चाहते हैं और केंद्र सरकार भी अडानी मुद्दे पर चर्चा के लिए तैयार नहीं है। सरकार सब कुछ छिपाना चाहती है और अब उनका पर्दाफाश हो रहा है।
सपा सांसद रामगोपाल यादव ने कहा, हम चाहते हैं कि अडानी के जो शेयर्स SBI और LIC ने खरीदे उसकी JPC के जरिए जांच हो। ये पैसा क्यों दिया गया, किन शर्तों पर दिया गया इसकी जांच होना जरूरी है। इन पर दबाव किसका था? जब तक JPC के जरिए जांच नहीं होगी तब तक इसका पता नहीं चलेगा इसलिए जांच होनी चाहिए।