मुजफ्फरनगर में छात्र ने खुद को किया आग के हवाले, फीस को लेकर प्रिंसिपल के व्यवहार से था दुखी
उत्तर प्रदेश के मुजफ्फरनगर स्थित डीएवी पीजी कॉलेज में बीए सेकंड ईयर के छात्र उज्ज्वल राणा ने फीस विवाद और प्रिंसिपल के अपमान से आहत होकर खुद को आग लगा ली। वह 70% से ज्यादा झुलस गया है और दिल्ली के एक अस्पताल में भर्ती है।
मुजफ्फरनगर। उत्तर प्रदेश के मुजफ्फरनगर में शनिवार को डीएवी पीजी कॉलेज बुढ़ाना में एक दर्दनाक घटना हुई। कॉलेज के बीए सेकंड ईयर के छात्र उज्ज्वल राणा ने फीस विवाद और प्रिंसिपल के अपमानजनक व्यवहार से आहत होकर कॉलेज परिसर में खुद को आग लगा ली। घटना के बाद पूरे क्षेत्र में हड़कंप मच गया।
घटना शनिवार दोपहर करीब साढ़े 11 बजे की है। उस दौरान उज्ज्वल कॉलेज कैंपस में पहुंचा और अचानक अपने बैग से पेट्रोल की बोतल निकालकर खुद पर उढ़ेल ली। प्रत्यक्षदर्शियों के मुताबिक, उसने टीचर्स के सामने खुद पर माचिस जलाकर आग लगा ली लेकिन वहां मौजूद किसी ने रोकने की कोशिश नहीं की। उज्ज्वल जलते हुए क्लासरूम की ओर भागा। उसके पीछे साथी छात्र दौड़े और बैग और पानी डालकर आग बुझाई। इस घटना में एक और छात्र झुलस गया।
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घटना का वीडियो भी सामने आया है जिसमें उज्ज्वल आग की लपटों में घिरा क्लासरूम की ओर भागते हुए दिख रहा है। उसके शरीर की ऊपरी त्वचा जलकर लटक रही थी। साथी छात्रों ने बताया कि टीचर दूर भाग गए और किसी ने मदद नहीं की। लगभग आधे घंटे तक छात्र तड़पता रहा फिर पुलिस ने मौके पर पहुंचकर उसे अस्पताल पहुंचाया। उज्ज्वल को पहले मुजफ्फरनगर से मेरठ फिर दिल्ली के अस्पताल में रेफर किया गया है। यहां उसकी हालत नाजुक बताई जा रही है। डॉक्टरों के मुताबिक, वह करीब 70% से ज्यादा झुलस गया है।
उज्ज्वल खाकरोबान गांव का रहने वाला है और उसके पिता हरेंद्र उर्फ बॉबी एक किसान हैं। परिवार की आर्थिक स्थिति काफी कमजोर है। कॉलेज स्टाफ के मुताबिक, उज्ज्वल ने तीसरे सेमेस्टर की परीक्षा के लिए फॉर्म भरकर जमा करने की कोशिश की थी। लेकिन प्रिंसिपल प्रदीप कुमार ने फीस बकाया होने का हवाला देकर फॉर्म लेने से इनकार कर दिया। इसके बाद से वह परेशान था। साथी छात्रों ने बताया कि प्रति सेमेस्टर करीब 10,000 रुपये फीस ली जाती है और उज्ज्वल पूरी फीस जमा नहीं कर सका था।
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परिवार और छात्रों ने आरोप लगाया कि प्रिंसिपल ने उज्ज्वल के साथ गाली-गलौज और मारपीट की थी। छात्र ने पहले भी गरीब छात्रों के हक में आवाज उठाई थी जिससे कॉलेज प्रशासन नाराज था। छात्र का सुसाइड नोट सामने आया है। जिसमें उसने लिखा,“प्रिंसिपल प्रदीप कुमार ने मेरी सबके सामने बेइज्जती की, गालियां दीं और बाल नोचे। मैंने सिर्फ गरीब छात्रों के लिए आवाज उठाई थी। लेकिन मुझे अपमानित किया गया। पुलिसकर्मियों ने भी मेरी मदद नहीं की। अगर मैं आत्महत्या करता हूं तो इसके जिम्मेदार प्रिंसिपल और तीन पुलिसकर्मी होंगे।”
घटना के बाद जब मीडिया ने प्रिंसिपल प्रदीप कुमार से बात की तो उन्होंने कहा,“हमने कोई धर्मशाला नहीं खोल रखी। फीस न भरने पर किसी को कहा गया है। अब वो इसके लिए आत्महत्या कर ले तो कर ले। हमने कोई मारपीट नहीं की। जो होगा देखा जाएगा।” यह बयान सामने आने के बाद छात्रों और अभिभावकों में भारी आक्रोश है। कॉलेज गेट पर प्रदर्शन जारी है और प्रशासन से न्याय की मांग की जा रही है। पुलिस ने घटना की पुष्टि करते हुए कहा कि जांच जारी है। उज्ज्वल के बयान और सुसाइड नोट के आधार पर प्रिंसिपल और तीन पुलिसकर्मियों की भूमिका की जांच की जा रही है।
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