Rahul Gandhi: सरकार ने गिना नहीं, इसका मतलब नहीं कि मजदूर मरे नहीं
Migrant Labourers Deaths: केंद्र सरकार ने संसद में कहा कि उसके पास लॉकडाउन के दौरान मारे गए मजदूरों का डेटा नहीं, राहुल गांधी ने कसा तंज

नई दिल्ली। केंद्र सरकार पर निशाना साधते हुए कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने कहा कि दुनिया ने लॉकडाउन के दौरान प्रवासी मजदूरों को मरते हुए देखा है, केवल केंद्र सरकार को ही इस बारे में कुछ पता नहीं है। राहुल गांधी की तह टिप्पणी केंद्र सरकार के उस बयान पर आई है, जिसमें कहा गया है कि केंद्र सरकार के वास लॉकडाउन के दौरान मारे गए प्रवासी मजदूरों का कोई आंकड़ा नहीं है।
ट्वीट करते हुए राहुल गांधी से पूछा, "अगर सरकार ने गिना नहीं तो क्या मजदूरों की मौत नहीं हुई। पूरी दुनिया ने उनको मरते देखा, सिर्फ सरकार को ही खबर नहीं हुई। यह बड़ा दु:खद है कि सरकार के ऊपर कोई असर नहीं हुआ।"
मोदी सरकार नहीं जानती कि लॉकडाउन में कितने प्रवासी मज़दूर मरे और कितनी नौकरियाँ गयीं।
— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) September 15, 2020
तुमने ना गिना तो क्या मौत ना हुई?
हाँ मगर दुख है सरकार पे असर ना हुई,
उनका मरना देखा ज़माने ने,
एक मोदी सरकार है जिसे ख़बर ना हुई।
इससे पहले मानसून सत्र के पहले दिन एक प्रश्न के जवाब में श्रम एवं रोजगार मंत्रालय ने कहा कि उसके पास लॉकडाउन के दौरान मारे गए मजदूरों का डेटा उपलब्ध नहीं है। मंत्रालय ने यह भी कहा कि उसके पास यह डेटा भी मौजूद नहीं है कि कितने प्रवासी मजदूरों ने अपनी नौकरी खो दी।
जब सरकार से यह पूछा गया कि क्या मारे गए प्रवासी मजदूरों के परिवार को किसी तरह की सहायता दी गई, तो सरकार ने कहा कि जब हमने मारे गए मजदूरों का ही डेटा नहीं इकट्ठा किया तो उनके परिवार की मदद किए जाने का तो सवाल ही नहीं उठता।