Rahul Gandhi : EIA 2020 का मकसद देश को लूटना
EIA draft 2020: पर्यावरण हमारे लिए सिर्फ एक शब्द नहीं है बल्कि जीवन और आजीविका का मुद्दा

नई दिल्ली। कांग्रेस नेता व वायनाड से सांसद राहुल गांधी ने EIA 2020 ड्राफ्ट यानी कि पर्यावरण प्रभाव आकलन मसौदे को लेकर केंद्र की मोदी सरकार पर निशाना साधा है। उन्होंने आरोप लगाया है कि इस ईआईए-2020 के मसौदे का मकसद साफ तौर से देश को लूटना है। कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने इसके लिए हैशटैग लूट ऑफ द नेशन का भी इस्तेमाल किया है।
राहुल ने ट्वीट कर कहा, 'EIA-2020 ड्राफ़्ट का मक़सद साफ़ है, देश को लूटना। यह एक और ख़ौफ़नाक उदाहरण है कि भाजपा सरकार देश के संसाधन लूटने वाले चुनिंदा सूट-बूट के ‘मित्रों’ के लिए क्या-क्या करती आ रही है।' उन्होंने पर्यावरण विनाश और देश को लूटने से रोकने के लिए पर्यावरण प्रभाव आकलन के मसौदे को वापस लिया जाना चाहिए।
EIA2020 ड्राफ़्ट का मक़सद साफ़ है - #LootOfTheNation
— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) August 10, 2020
यह एक और ख़ौफ़नाक उदाहरण है कि भाजपा सरकार देश के संसाधन लूटने वाले चुनिंदा सूट-बूट के ‘मित्रों’ के लिए क्या-क्या करती आ रही है।
EIA 2020 draft must be withdrawn to stop #LootOfTheNation and environmental destruction.
सिर्फ एक शब्द नहीं, आजीविका है पर्यावरण
बता दें कि राहुल ने इससे पहले भी इस ड्राफ्ट को लेकर नाराजगी जाहिर की थी। रविवार को राहुल ने अपने एक फेसबुक पोस्ट में इसे अपमानजनक और खतरनाक बताया था। उन्होंने कहा था कि, 'बीजेपी ने जिस मसौदे को जनता के फीडबैक के लिए रखा है यह न केवल हमारे पर्यावरण की रक्षा के लिए वर्षों से लड़े और जीते गए लड़ाई के परिणामों को बदल देगा बल्कि संभवतः यह पूरे भारत में व्यापक पर्यावरण विनाश और तबाही लाएगा। पर्यावरण हमारे लिए सिर्फ एक शब्द नहीं है बल्कि एक जीवन और आजीविका का मुद्दा है।
भारतीयों से इसका विरोध करने की अपील
राहुल ने विदड्रा EIA 2020 हैशटैग के साथ हर भारतीय नागरिक से इस मसौदे का विरोध करने की अपील की है। उन्होंने इसे आपदा बताते हुए कहा है कि यह पर्यावरणीय गिरावट से सीधे प्रभावित होने वाले समुदायों के आवाज को दबाने का प्रयास है। उन्होंने कहा, 'हमारे देश के युवा जो पर्यावरण बचाने की लड़ाई में सबसे आगे रहे हैं उन्हें इस मुद्दे को उठाना चाहिए, अपना बनाना चाहिए और इसके खिलाफ मिलकर लड़ाई लड़ना चाहिए।' गौरतलब है कि पर्यावरण मंत्रालय ने इस साल मार्च में ईआईए के मसौदे को लेकर अधिसूचना जारी की थी और इस पर जनता से सुझाव मांगे गए थे। इसके तहत अलग-अलग परियोजनाओं के लिए पर्यावरण मंजूरी देने के मामले आते हैं।