बंगाल बीजेपी में टिकट बँटवारे पर घमासान, कई जगहों पर ग़ुस्साए कार्यकर्ताओं ने तोड़फोड़ की

West Bengal Election 2021: पश्चिम बंगाल बीजेपी में अंदरूनी कलह पर काबू पाने के लिए अमित शाह और जेपी नड्डा कार्यक्रम में बदलाव करके बीती रात कोलकाता पहुंचे

Updated: Mar 16, 2021, 05:08 AM IST

Photo Courtesy: Telegraphindia
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कोलकाता। पश्चिम बंगाल में सत्ता हासिल करने के लिए विरोधियों के ख़िलाफ़ पूरी ताक़त लगा रही बीजेपी को अपना घर सँभालने में ही मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है। विधानसभा चुनाव में टिकटों के बँटवारे को लेकर कई इलाक़ों में  भारी घमासान मचा हुआ है। बीजेपी उम्मीदवारों के नामों की घोषणा होते ही राज्य के कई हिस्सों में विरोध-प्रदर्शन शुरू हो गए। कई जगहों पर बीजेपी के दफ़्तर में हंगामा और तोड़फोड़ किए जाने की ख़बरें भी सामने आ रही हैं।

हालात इतने नाज़ुक हो गए हैं स्थिति को सँभालने के लिए गृह मंत्री अमित शाह को अपने कार्यक्रम में बदलाव करके गुवाहाटी से दिल्ली की जगह कोलकाता पहुंचना पड़ा। बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा भी हालात को और बिगड़ने से रोकने की कोशिश के तहत तय कार्यक्रम में फेर-बदल करके बीती रात कोलकाता पहुँच गए।  पश्चिम बंगाल में विधानसभा चुनाव से ठीक पहले बीजेपी का दामन थामने वाले दलबदलुओं और बीजेपी के पुराने नेताओं-कार्यकर्ताओं के  बीच तकरार खुलकर सामने आ चुकी है।

कोलकाता के बीजेपी मुख्यालय के सामने भी बड़ी संख्या में बीजेपी कार्यकर्ताओं ने टिकट बँटवारे के विरोध में प्रदर्शन किया। इंडियन एक्सप्रेस के मुताबिक़ कई ग़ुस्साए कार्यकर्ताओं ने पार्टी दफ़्तर में घुसने की कोशिश की, लेकिन पुलिस ने उन्हें अंदर जाने से रोक दिया। अख़बार के मुताबिक़ मुकुल रॉय, अर्जुन सिंह और शिव प्रकाश जैसे वरिष्ठ बीजेपी नेताओं के साथ कुछ नाराज़ कार्यकर्ताओं ने धक्कामुक्की भी की। ये कार्यकर्ता कई विधानसभा क्षेत्रों में उम्मीदवारों के नाम बदलने की माँग कर रहे हैं।

टिकटों के बँटवारे को शुरू हुआ बीजेपी का अंदरूनी झगड़ा कम होने की जगह लगातार बढ़ता जा रहा है। तेज़ी से बिगड़ते हालात की ख़बर मिलने पर केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह अपने तय कार्यक्रम में बदलाव करके  गुवाहाटी से दिल्ली जाने की बजाय सीधे कोलकाता पहुँच गए। बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा को भी मंगलवार की जगह सोमवार रात ही कोलकाता पहुँचना पड़ा। मीडिया में आई ख़बर के मुताबिक़ इन नेताओं ने रात में ही बैठक करके हालात की समीक्षा की है। राज्य बीजेपी के नेता अर्जुन सिंह ने माना है कि पार्टी के कार्यकर्ताओं में कुछ उम्मीदवारों के नामों को लेकर नाराज़गी है। अर्जुन सिंह के मुताबिक़ उन्होंने इस बारे में केंद्रीय नेतृत्व को रिपोर्ट भेज दी है और अब इस बारे में फ़ैसला उन्हीं को करना है।

हुगली ज़िले में बीजेपी कार्यकर्ताओं ने पार्टी के जिला मुख्यालय में जमकर हंगामा किया और दफ़्तर में तोड़फोड़ भी की। बताया जा रहा है कि पार्टी कार्यकर्ताओं ने चुचुरा से लॉकेट चटर्जी, हरिपाल से समीरन मित्रा, सिंगुर से पूर्व टीएमसी नेता रबींद्रनाथ भट्टाचार्य और उत्तरपाड़ा से प्रबीर घोषाल को उम्मीदवार बनाए जाने के ख़िलाफ़ खुली बग़ावत कर दी है। हुगली में तृणमूल से बीजेपी में शामिल हुए रबींद्रनाथ भट्टाचार्य को उम्मीदवार बनाने पर कार्यकर्ताओं ने भारी नाराजगी जताई और तोड़फोड़ की।

बीजेपी के अलीपुरद्वार जिला अध्यक्ष गंगा प्रसाद शर्मा ने तो अर्थशास्त्री अशोक लाहिड़ी और कालचीनी से बिशाल लामा को उम्मीदवार बनाए जाने के खिलाफ बग़ावत करते हुए अपने पद से इस्तीफ़ा तक दे दिया है। शर्मा का कहना है कि इन लोगों को उम्मीदवार बनाए जाने से पहले ज़िला संगठन से कोई सलाह-मशविरा नहीं किया गया। शर्मा के मुताबिक़ दोनों ही उम्मीदवारों को ऊपर से थोपा गया है, जिसे वो मंज़ूर नहीं करेंगे।

हावड़ा की पंचला और उदयनारायणपुर विधानसभा सीट पर बीजेपी कार्यकर्ताओं ने पार्टी के घोषित उम्मीदवारों के ख़िलाफ़ विरोध प्रदर्शन करते हुए उन्हें बदलने की माँग की है। पंचला से मोहितलाल घाटी को टिकट मिलने पर नाराज बीजेपी कार्यकर्ताओं ने पार्टी कार्यालय में तोड़फोड़ भी की। कई जिला स्तरीय नेताओं ने पार्टी से इस्तीफा भी दे दिया है।

इसके अलावा साउथ 24 परगना ज़िले की रायदिघी, जॉयनगर, कैनिंग पश्चिम और डायमंड हार्बर सीटों पर भी घोषित उम्मीदवारों के नाम बदलने की माँग नाराज़ कार्यकर्ताओं ने की है। रायदिघी में टीएमसी से आए दलबदलू शांतनु बापुली के ख़िलाफ़ सैकड़ों बीजेपी कार्यकर्ताओं ने दिन भर विरोध प्रदर्शन किया। बीजेपी कार्यकर्ताओं ने कहा कि टीएमसी से आए नेता उन पर हुए हमलों के लिए ज़िम्मेदार हैं। उन्होंने हमेशा बीजेपी को ख़त्म करने की कोशिश की, लिहाज़ा अब वे उन्हें अपना उम्मीदवार नहीं मान सकते।

बीजेपी उम्मीदवारों की घोषणा के कुछ ही देर बाद सोवन चट्टोपाध्याय और उनकी सहयोगी बैसाखी बंद्योपाध्याय ने पार्टी छोड़ने का एलान कर दिया। चट्टोपाध्याय कई दशकों से बेहाला पूर्व सीट का प्रतिधित्व करते आ रहे हैं, लेकिन वहाँ से बीजेपी ने हाल ही में पार्टी में शामिल हुई पायल सरकार को टिकट दिया है। प्रदेश बीजेपी अध्यक्ष दिलीप घोष को भेजे इस्तीफे में चट्टोपाध्याय ने बीजेपी पर अपमानित करने का आरोप लगाया.

बीजेपी में उठ रही इस असंतोष की लहर पर टिप्पणी करते हुए टीएमसी की तेज़-तर्रार सांसद महुआ मोइत्रा ने ट्विटर पर लिखा, “पश्चिम बंगाल में धीरे-धीरे जारी हो रही बीजेपी उम्मीदवारों की लिस्ट का यह टीवी सीरियल जैसा ड्रामा देखकर मज़ा आ रहा है। दुनिया की सबसे बड़ी पार्टी के पास इतनी ताक़त और चेहरे भी नहीं है कि वो 294 सीटों पर एक साथ उम्मीदवारों के नाम घोषित कर सकें और वो राज्य में एकतरफ़ा जीत हासिल करने के दावे कर रहे हैं!”