CoronaVirus India: भारत में एक नहीं बल्कि कई 'कोरोना पीक' होंगे

दिल्ली और मुंबई की में पीक हम देख चुके हैं, अब बारी छोटे शहरों की

Publish: Jul 13, 2020, 04:52 AM IST

Pic: Swaraj Express
Pic: Swaraj Express

भारत में कोरोना वायरस के मामले बहुत तेजी से बढ़ रहे हैं। सिर्फ तीन हफ्तों के भीतर भारत छठे से तीसरे स्थान पर आ गया है। ऐसे में ये सवाल उठ रहे हैं कि भारत में कोरोना वायरस पीक क्या होगा और सवा अरब से अधिक आबादी वाले देश की स्वास्थ्य व्यवस्था क्या इतनी सक्षम है कि वो कोरोना वायरस संकट से उबर सकती है।

ग्लोबल हेल्थ रिसर्चर डॉक्टर अनंत भान ने न्यूज एजेंसी एपी को बताया कि ‘पीक’ की बात बस एक हौवा है क्योंकि भारत में हम केवल एक पीक नहीं देखेंगे बल्कि बहुत सारी पीक अलग-अलग जगहों पर देखेंगे। उन्होंने कहा कि दिल्ली और मुंबई में हम पीक देख चुके हैं, अब बारी छोटे शहरों की है जहां लॉकडाउन खुलने के बाद बहुत तेजी से मामले बढ़ रहे हैं। उन्होंने कहा कि इस बारे में कोई अंदाजा तब तक नहीं लगाया जा सकता जब तक सहज रूप से टेस्टिंग ना होने लगे। हालांकि, सरकार का कहना है कि अब प्रतिदिन ढाई लाख टेस्ट हो रहे हैं। लेकिन विशेषज्ञों की मानें तो इतनी बड़ी आबादी वाले देश के हिसाब से ये नाकाफी हैं।

सरकार का यह भी कहना है कि बाकी देशों के मुकाबले भारत में कोरोना को लेकर स्थिति ठीक है। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री ने बताया था कि हमारे यहां 10 लाख लोगों पर केवल 538 मामले सामने आ रहे हैं, जबकि दुनिया में ये आंकड़ा 1453 है। वेल्लोर में क्रिश्चियन मेडिकल कॉलेज के डॉक्टर जयप्रकाश मुलियाल का कहना है कि भारत में कोरोना संक्रमण की वास्तविक संख्या को जानना 'बिल्कुल असंभव' है, क्योंकि किसी भी तरह की मृत्यु के लिए ज्यादातर जगहों पर कोई रिपोर्टिंग तंत्र नहीं है।

वहीं अलग-अलग जगहों पर अलग-अलग समय पर पीक की आशंका को इस बात से भी बल मिलता है कि राज्यों और केंद्र सरकार के बीच कॉर्डिनेशन नहीं है। केरल में कोरोना वायरस संकट का बहुत ही अच्छे तरीके से सामना किया गया। इतना कि केरल मॉडल को दुनिया भर से तारीफ मिली। वहीं दूसरी तरफ दिल्ली में कोरोना से हाहाकार मच गया। जब केंद्र सरकार ने दिल्ली सरकार के साथ मिलकर काम किया तब कहीं स्थिति पहले के मुकाबले बेहतर हुई।