मैं कांग्रेसी हूं, जरा मुझे खत्म करके दिखाएं, योगी आदित्यनाथ के बयान पर दिग्विजय सिंह का पलटवार

चुनाव प्रचार अभियान के आखिरी दिनों में तबड़तोड दौरे कर रहे हैं दिग्विजय सिंह, बुधवार को ग्वालियर में नाराज दावेदारों से कहा- जो चुनाव में घर बैठे उनके लिए हमेशा बंद रहेंगे मेरे घर के दरवाजे

Updated: Nov 09, 2023, 12:33 PM IST

ग्वालियर। मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव में अब महज हफ्तेभर का समय शेष है। चुनाव प्रचार अभियान के अंतिम दिनों में वरिष्ठ कांग्रेस नेता व पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह प्रदेशभर में ताबड़तोड़ दौरे कर रहे हैं। पूर्व सीएम बुधवार को ग्वालियर पूर्व और मुरैना जिले की आठ विधानसभा क्षेत्रों के सघन दौरे पर थे। मुरैना में पूर्व सीएम दिग्विजय सिंह ने योगी आदित्यनाथ के बयान पर पलटवार करते हुए कहा मैं कांग्रेसी हूं, जरा मुझे खत्म करके दिखाएं। दरअसल, यूपी सीएम ने एमपी में चुनाव प्रचार के दौरान कांग्रेस पार्टी और नेताओं को खत्म करने की बात की थी।

पूर्व सीएम दिग्विजय सिंह बुधवार को मुरैना का दौरा शुरू होने से पहले ग्वालियर शहर में कार्यकर्ता सम्मेलन को संबोधित किया और उन्हें एकजुट होकर चुनाव लड़ने की सीख दी। सिंह ने दो टूक शब्दों में पार्टी के असंतुष्ट दावेदारों से कहा कि अगर चुनाव के दौरान वे कांग्रेस के पक्ष में प्रचार नहीं कर रहे हैं और घरों में बैठे हैं तो समझ लें कि दिग्विजय सिंह के घर के दरवाजे भी अब उनके लिए हमेशा बंद रहेंगे।

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दिग्विजय सिंह इंटक मैदान में कांग्रेस प्रत्याशी सुनील शर्मा के चुनाव कार्यालय पहुंचे जहां उन्होंने कार्यकर्ताओं के साथ बैठक भी की। उन्होंने कहा कि हमने सर्वे करवाए थे। आप लोगों से भी घंटों बात की। एआईसीसी ने भी सर्वे करवाए थे जिसमें सुनील शर्मा का नाम आया क्योंकि वही जनता के बीच लगातार घूमते रहते थे। हमें समझना होगा कि एक तो यह चुनाव धनबल और जनबल के बीच है और यह चुनाव उन लोगों के बीच है जिन लोगों ने कांग्रेस के साथ गद्दारी की थी और वे लोग जो कांग्रेस के साथ वफादारी से खड़े हुए हैं... जनबल बनाम धनबल और गद्दार बनाम ईमानदार।

दिग्विजय सिंह ने आगे कहा, 'दूसरी बात 2018 की तुलना 2023 से की जाए तो तब कमलनाथ को 5 महीने मिले थे चुनाव लड़वाने के लिए। तब संगठन भी जितना तैयार होना चाहिए था उतना तैयार नहीं था और भाजपा में तीन गुट नहीं थे। 'महाराज भाजपा', 'शिवराज भाजपा' और 'नाराज भाजपा'। तब एक भाजपा थी। इसका लाभ हमें मिल रहा है। तीसरी बात अब 2023 में कमलनाथ को 5 साल मिले संगठन को खड़ा करने के लिए। उन्होंने सेक्टर ,मंडल, बीएलए वगैरह सब बना लिए। आज हमारी तैयारी पहले से ज्यादा है कि नहीं? शिवराज सिंह के खिलाफ इतनी नाराजगी 2018 में नहीं थी जो आज है। भाजपा भी इतनी बंटी हुई नहीं थी जितनी आज है।'

दिग्विजय सिंह ने मंत्री प्रद्युम्न सिंह तोमर का नाम लिए बिना कहा कि यहां का उम्मीदवार 'महाराज भाजपा' का है तो 'शिवराज भाजपा' और 'नाराज भाजपा' तो बत्ती देगी और मानकर चलो कि दे रही है। तो उप चुनाव और 2018 का जो अंतर था वह बदलकर हमारे पक्ष में हो गया है। उन्होंने कहा कि जो 66 सीटें मुझे मिली थीं उनमें से एक यह भी है। ग्वालियर जहां मैं खड़ा हूं यहां मेरी प्रतिष्ठा भी लगी हुई है। ये इंटक का इलाका है। ये मजदूर और मालिक के खिलाफ है। भाजपा ने जितना नुकसान मजदूरों का किया दूसरा कोई कर नहीं रहा। इंटक लगातार संघर्ष कर रहा है। यहां तक कि भारतीय मजदूर संघ भी नाराज है। ट्रेड यूनियन के सारे अधिकार छीन लिए। हर साल देश में मिल मालिक, सरकार और श्रमिक की राष्ट्रीय संगोष्ठी होती थी लेकिन 9 साल से मोदी सरकार ने यह नहीं की क्योंकि श्रमिकों के हित के 44 कानून खत्म करके मिल मालिकों के हित में चार कोड लागू कर दिए।