तीन हफ्तों में सबसे ज़्यादा दर्ज हुए कोरोना के मामले, अंतरराष्ट्रीय विमानों पर 31 अगस्त तक प्रतिबंध

कोरोना के मामलों में लगातार तेज़ी देखने में मिल रही है, गुरूवार को देशभर में कोरोना के 44 हज़ार से ज़्यादा मामले दर्ज किए गए

Updated: Jul 30, 2021, 11:57 AM IST

Photo Courtesy : The Economic Times
Photo Courtesy : The Economic Times

नई दिल्ली। कोरोना की संभावित तीसरी लहर की आशंका के बीच देशभर में कोरोना के संक्रमण ने एक बार फिर से तेज़ी पकड़ ली है। गुरूवार को भारत में कोरोना के 44 हज़ार 230 मामले दर्ज किए गए। बीते तीन हफ्तों में कोरोना के मामलों में बढ़ोत्तरी ने डॉक्टरों की चिंता बढ़ा दी है। दुनिया के देशों के साथ साथ भारत में आयी इस तेज़ी को देखते हुए केंद्र सरकार ने अंतरराष्ट्रीय विमानों पर लगा प्रतिबंध 31 अगस्त तक के लिए बढ़ा दिया है। पहले यह रोक 31 जुलाई तक थी। 

केरल में स्थिति चिंताजनक 

कोरोना के बढ़ते संक्रमण के बीच केरल की स्थिति चिंताजनक बनी हुई है। केरल में लगातार तीसरे दिन 22 हज़ार से ज़्यादा मामले सामने आए।सरकारी आंकड़ों के मुताबिक मौजूदा समय में भारत में कोरोना संक्रमण के मामलों के 37 प्रतिशत एक्टिव मामले केरल में ही हैं। केरल सहित देश के पूर्वोत्तर राज्यों में आर फैक्टर में लगातार बढ़ोतरी देखी जा रही है। केरल में इस समय आर वैल्यू 1.11 फीसदी है। आर वैल्यू एक मानक है जिससे यह पता किया जाता है कि किसी जगह पर कोरोना संक्रमण का फैलाव कितनी तेज़ी से हो रहा है।  

आर वैल्यू में हुई बढ़ोतरी 

उदाहरण के तौर पर अगर आर वैल्यू के 0.95 फीसदी होने का मतलब है कि 100 लोगों को कोरोना का संक्रमण हुआ है तो 95 अन्य लोगों को कोरोना का संक्रमण हो सकता है। आर वैल्यू के 1 फीसदी से कम होने का मतलब है कि कोरोना के नए मामले पुराने मामलों के मुकाबले कम आ रहे हैं। जिसका मतलब है कि संक्रमण के मामले कम हो रहे हैं। विशेषज्ञों का कहना है कि आने वाले दिनों में पूर्वोत्तरी राज्यों की स्थिति और भयावह हो सकती है। 

यह भी पढ़ें ः कोरोना ने एक बार फिर पकड़ी रफ्तार, लगातार दूसरे दिन आए 43 हजार से ज्यादा संक्रमण के मामले

उत्तर पूर्व के राज्यों, केरल और मनहाराष्ट्र में कोविड के बढ़ते मामलों ने सभी की चिंता बढ़ा दी है। कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने केरल में बढ़ते कोविड के मामलों पर नागरिकों से सुरक्षा मानकों का पालन करने की अपील की है।

कोरोना की दूसरी लहर जिस समय अपने चरम पर थी उस दौरान भारत में आर वैल्यू 1.37 (8 अप्रैल से 21 अप्रैल) थी। 24 अप्रैल से 1 मई के दरमियान यह 1.18 फीसदी हो गई। वहीं 29 अप्रैल से 7 मई के दरमियान यह 1.1 फीसदी पर पहुंच गई। 15 मई से 26 जून के दौरान यह 0.78 फीसदी रिकॉर्ड की गई थी।  लेकिन 20 जून से 7 जुलाई के दरमियान इसमें अचानक उछाल देखी गई। इस दौरान आर वैल्यू 0.88 फीसदी पहुंच गई। जबकी 3 जूलाई से 22 जुलाई के दरमियान आर वैल्यू 0.95 फीसदी रिकॉर्ड किया गया है। जो कि जल्द कोरोना संक्रमण के मामलों में आने वाली उछाल के प्रति आगाह कर रहा है।  

यह भी पढ़ें ः तीन हफ्तों में सबसे ज्यादा आए कोरोना के मामले, 43 हजार से ज्यादा लोग हुए संक्रमित

कोरोना की तीसरी लहर को लेकर भी तमाम विशेषज्ञ यह आशंका ज़ाहिर कर चुके हैं कि अगस्त के दूसरे पखवाड़े से कोरोना की तीसरी लहर दस्तक दे सकती है। और सितंबर आते आते कोरोना की लहर अपनी पीक पर पहुंच जाएगी। विश्व स्वास्थ्य संगठन द्वारा जारी आंकड़ों से पता चलता है कि दुनिया भर में कोरोना एक बार फिर अपनी रफ्तार पकड़ रहा है। डब्ल्यूएचओ के मुताबिक बीते एक हफ्ते में कोरोना संक्रमण के मामलों में 8 फीसदी की वृद्धि हुई है। कोरोना के बढ़ते मामलों को देखते हुए। भारत ने तमाम अंतरराष्ट्रीय विमानों पर लगे प्रतिबंध को बढ़ा दिया है।